शिक्षा की नयी नीति
नये नियम के आधार पर अब शिक्षा विभाग उन विद्यालयों का विलय करेगा जहां बच्चे कम हैं. वैसे विद्यालय जहां 20 छात्रों से कम की उपस्थिति है, बंद किये जायेंगे. पहले गांव-गांव स्कूल खोलनेवाले इन्हीं नीतिकारों ने यह पहले क्यों नहीं सोचा कि लाखों खर्च कर एक-एक भवन का निर्माण कराया गया और अब उनका […]
नये नियम के आधार पर अब शिक्षा विभाग उन विद्यालयों का विलय करेगा जहां बच्चे कम हैं. वैसे विद्यालय जहां 20 छात्रों से कम की उपस्थिति है, बंद किये जायेंगे. पहले गांव-गांव स्कूल खोलनेवाले इन्हीं नीतिकारों ने यह पहले क्यों नहीं सोचा कि लाखों खर्च कर एक-एक भवन का निर्माण कराया गया और अब उनका विलय होगा़ ऐसे में तो पूरे राज्यभर में सैकड़ों विद्यालय विलय होंगे, जिससे करोड़ों के भवन बेकार हो जायेंगे, अगर इनका किसी अन्य कार्य में उचित प्रयोग न किया गया तो. दूसरी ओर, कोल्हान विश्वविद्यालय की बात की जाये तो वह भी हमेशा विवादों में रहा है.
पहले बीएड कॉलेजों का मामला, कॉलेज विलय, अब जल्द रिजल्ट के कारण व ऑनलाइन प्रक्रियाओं से छात्र बेहाल हैं. रिजल्ट देने की जल्दी के कारण जहां कई छात्र अधिकतम अंक का आंकड़ा पार कर गये, वहीं कई मेधावियों को औसत प्राप्तांक से मन मसोसना पड़ा. वैसे भी कई छात्र हैं जिन्होंने कभी कंप्यूटर या इंटरनेट का प्रयोग न किया होगा, अब अॉनलाइन परीक्षा उनके माथे पड़ी है, ऐसे में वे क्या करेंगे?
हरिश्चंद्र महतो, बेलपोस, प सिंहभूम