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झारखंड के उपेक्षित युवा

आज 17 साल बाद भी यहां के युवा सबसे ज्यादा उपेक्षित हैं. उन्हें बेरोजगार बना कर रखा गया है. सभी वैकेंसी कानूनी दांव-पेच में उलझा हुआ है. ऐसे में युवाओं के भविष्य का क्या होगा? कोई सुनने या समझनेवाला नहीं दिखता. मामला जेपीएससी, जेएसएससी, जैक या कोई और नियुक्ति एजेंसी की हो, हर जगह मामला […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | May 10, 2017 5:39 AM

आज 17 साल बाद भी यहां के युवा सबसे ज्यादा उपेक्षित हैं. उन्हें बेरोजगार बना कर रखा गया है. सभी वैकेंसी कानूनी दांव-पेच में उलझा हुआ है. ऐसे में युवाओं के भविष्य का क्या होगा? कोई सुनने या समझनेवाला नहीं दिखता. मामला जेपीएससी, जेएसएससी, जैक या कोई और नियुक्ति एजेंसी की हो, हर जगह मामला फंसा पड़ा है.

इसे दूर करना तो सरकार की जिम्मेवारी है ना! टेट पास अभ्यर्थी के लिए भी जल्द परीक्षा ली जानी चाहिए. बेहतर होता कि इस परीक्षा को संचालन करने की जिम्मेदारी जेएसएससी को ना देकर कोई और एजेंसी को दी जाये. राज्य तभी विकास की पटरी पर दौड़ेगा जब यहां के युवाओं को काम करने का उचित मौका और प्लेटफॉर्म प्रदान किया जायेगा.

शाहिद राज, रांची

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