बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार इन दिनों समाज सुधार अभियान के तहत सूबे की यात्रा पर निकले हैं जहां जिलों में जाकर सीएम बाल विवाह, दहेज प्रथा और शराबबंदी समेत अन्य मुद्दों की समीक्षा भी कर रहे हैं. समस्तीपुर में सीएम के कार्यक्रम के दौरान मंच से बिहार के डीजीपी एस के सिंघल ने संबोधित किया और लड़कियों को लेकर उनके अभिभावकों को सलाह दी. डीजीपी ने कम उम्र के लड़कों को अपराध में लिप्त होने पर भी चिंता जाहिर की.
डीजीपी ने मंच से संबोधन के दौरान अपनी चिंता जाहिर की और अभिभावकों को सलाह देते हुए कहा कि वो अपनी बच्चियों से जुड़े रहें. सलाह देते हुए डीजीपी ने कहा कि अभिभावकों को ध्यान देना चाहिए कि उनकी बच्ची घर से चली तो स्कूल पहुंची या नहीं. स्कूल पहुंची तो पढ़ाई हुई या नहीं और घर के लिए होमवर्क मिला या नही. घर वापस आने के बाद भी बच्ची से जुड़े रहना चाहिए.
डीजीपी ने सलाह दिया और कहा कि अभिभावकों को इस बात का पता करना चाहिए कि पढ़ाई के लिए घर से स्कूल के निकली उनकी बच्ची को कहीं कोई परेशान तो नहीं करता है. लड़की खुश है या नहीं ये पता रखना चाहिए. बेटी किनके साथ उठ-बैठ रही है इस बात की जानकारी अभिभावकों को रखनी चाहिए. डीजीपी ने कहा कि पुलिस और प्रशासन इस बात का ख्याल रखते ही हैं लेकिन सबसे बड़ी जिम्मेदारी अभिभावकों की ही होती है.
वहीं लड़कों के लिए भी बिहार डीजीपी ने सचेत किया और कहा कि आजकल कम उम्र के लड़के ही अपराध में अधिक लिप्त होने लगे हैं. ये एक बड़ी चिंता का विषय है. जो सलाह लड़कियों के लिए दी गयी है वही लड़कों के लिए भी अभिभावकों को पालन करना चाहिए. समाज में सभी तबके की भागिदारी जरुरी होती है. बता दें कि आज समस्तीपुर में जीविका दीदियों के साथ संवाद कार्यक्रम के तहत मुख्यमंत्री के मंच से डीजीपी संबोधित कर रहे थे.
Posted By: Thakur Shaktilochan