Opposition Meet Patna: पटना में विपक्षी दल की बैठक में शमिल होने के लिए कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे व राहुल गांधी दिल्ली से रवाना हुए. पटना के लिए रवाना होने से ठीक पहले मल्लिकार्जुन खरगे ने मीडिया से बातचीत की और बैठक को लेकर बयान दिए. कांग्रेस अध्यक्ष ने दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल की शर्तों को लेकर भी अपनी प्रतिक्रिया दी.
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे में दिल्ली में मीडिया से बातचीत के दौरान विपक्षी दलों की महाबैठक को लेकर कहा कि हम सब मिलकर भाजपा के खिलाफ लड़ना चाहते हैं और भाजपा को इस देश से बाहर करना चाहते हैं. पटना जाने के बाद एक अच्छी राय बनेगी. खरगे ने कहा कि राहुल गांधी ने पहले ही विपक्षी एकता की शुरूआत की थी और यह बैठक उसी का हिस्सा है.
#WATCH अरविंद केजरीवाल को यह पता होगा कि अध्यादेश का समर्थन या विरोध बाहर नहीं होता, यह सब सदन के अंदर होता है। जब संसद शुरू होगी तो सभी पार्टियां मिलकर एजेंडा तय करेंगी: अरविंद केजरीवाल के 'अध्यादेश पर कांग्रेस का समर्थन न मिलने पर वॉकआउट करने' के बयान पर कांग्रेस अध्यक्ष… pic.twitter.com/X3uDjRpXSj
— ANI_HindiNews (@AHindinews) June 23, 2023
वहीं अरविंद केजरीवाल की शर्तों को लेकर कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि अरविंद केजरीवाल को यह पता होगा कि अध्यादेश का समर्थन या विरोध बाहर नहीं होता, यह सब सदन के अंदर होता है. जब संसद शुरू होगी तो सभी पार्टियां मिलकर एजेंडा तय करती है. उनके पार्टी के नेता भी सर्वदलीय बैठक में हिस्सा लेते हैं.
मल्लिकार्जुन खरगे ने अध्यादेश पर कांग्रेस के समर्थन वाले मुद्दे पर कहा कि क्यों बाहर इसका इतना प्रचार हो रहा है पता नहीं. हम 18-20 पार्टियां मिलकर ये फैसला लेते हैं कि सदन में किस मुद्दे का समर्थन करना है या किसका विरोध. जब सदन शुरू होगी तब इसे देखेंगे और हम मिलकर फैसला लेंगे.
बता दें कि विपक्षी दल की बैठक में हिस्सा लेने दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल, पंजाब के सीएम भगवंत मान और आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह पटना पहुंच चुके हैं. गुरुवार को पटना में संजय सिंह ने कहा कि आम आदमी पार्टी और दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल चाहते हैं कि शुक्रवार को हो रही विपक्षी दलों की महाबैठक में इस अध्यादेश पर सार्थक चर्चा हो और सहमति बने. आम आदमी पार्टी चाहती है कि कांग्रेस इस मसले पर राज्यसभा में विपक्ष का साथ दे. बताते चलें कि सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली में अफसरों की ट्रांसफर-पोस्टिंग का अधिकार दिल्ली सरकार को दिया था लेकिन केंद्र सरकार ने अध्यादेश लाकर इस फैसले को पलट दिया है.
Published By: Thakur Shaktilochan