COVID-19 Bihar, पटना: राज्य में कोरोना के गंभीर मरीजों के लिए पटना एम्स सबसे बड़ा अस्पताल है. इस कोरोना डेडिकेटेड अस्पताल में राज्य भर से गंभीर मरीज इलाज के लिए रेफर होकर आते हैं. जून और जुलाई में यहां मरीजों की संख्या काफी अधिक थी. एक समय तो ऐसा भी आया था कि यहां उपलब्ध सारे बेड मरीजों से भर चुके थे. नये मरीजों को यहां भर्ती होने के लिए भी संघर्ष करना पड़ रहा था. वहीं वर्तमान में स्थिति यह है कि पटना एम्स की क्षमता से आधे से भी ज्यादा बेड खाली पड़े हैं.
शनिवार को यहां मात्र 169 मरीज भर्ती थे. पटना एम्स अपनी जरूरत के मुताबिक करीब 500 बेडों पर कोविड मरीजों को भर्ती कर इलाज कर सकता है. यहां पर्याप्त मात्रा में आइसीयू और वेंटिलेटर की सुविधा मौजूद है. इतना ही नहीं यहां प्लाज्मा थेरेपी की सुविधा भी है. कोरोना काल शुरू होने से लेकर अब तक करीब 2,800 मरीजों को यहां भर्ती कर इलाज किया जा चुका है. जून-जुलाई की तुलना में मरीजों की संख्या में 50 प्रतिशत से अधिक की गिरावट आयी है.
पटना एम्स में कोरोना संक्रमित मरीजों का ओपीडी में भी इलाज करने की सुविधा है. कोरोना काल में इसका फ्लू क्लिनिक काफी लोकप्रिय हो चुका है. यहां कोरोना संक्रमित आकर ओपीडी में डॉक्टर से मिल कर चिकित्सीय सलाह लेते हैं और अपने घर पर ही आइसोलेशन में रहकर ठीक हो रहे हैं. इसमें रोजाना करीब 40 मरीज इलाज के लिए आ रहे हैं. हल्के लक्षणों वाले मरीजों के लिए यह क्लिनिक काफी फायदेमंद साबित हुआ है. यहां अब तक करीब पांच हजार लोगों ने आकर चिकित्सीय सलाह ली है.
पटना. पीएमसीएच के कोविड वार्ड में 108 बेड मरीजों के लिए उपलब्ध हैं. लेकिन इस वार्ड में आज तक कभी भी ये सभी बेड नहीं भरे हैं. यहां रोजाना ही आधे से ज्यादा बेड खाली पड़े रहते हैं. दो अक्तूबर को ही इस वार्ड में मात्र 37 मरीज भर्ती थे. यहां आइसीयू से लेकर वेंटिलेटर तक की सुविधा उपलब्ध है. हर बेड पर पाइपलाइन से हाइ फ्लो ऑक्सीजन की सुविधा पहुंचायी गयी है. मरीजों के बेड पर कॉल बेल भी लगायी गयी है, मरीज इसका बटन दबाकर स्वास्थ्यकर्मी को अपने पास बुला सकते हैं. यहां सभी तरह की दवाओं से लेकर खाना पानी भी नि:शुल्क उपलब्ध है. इसके बाद भी कोविड मरीजों की संख्या यहां कम ही रह रही है.
पिछले कुछ समय में हमारे यहां भर्ती होने वाले कोविड मरीजों की संख्या में कमी आयी है. पूर्व की तुलना में यह कमी 50 प्रतिशत तक देखी गयी है.
डॉ संजीव कुमार, कोरोना नोडल ऑफिसर, एम्स
Posted By: Thakur Shaktilochan Shandilya