26.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

पटना साहिब गुरुद्वारे में ज्ञानी रणजीत सिंह ने जत्थेदार के रूप में की सेवा, सेवादारों ने खोला मोर्चा

पटना साहिब गुरुद्वारे में संगतों व सेवादारों ने प्रबंधक कमेटी के फैसले के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. उनका कहना है कि पंज प्यारों के आदेश के खिलाफ जत्थेदार ज्ञानी रणजीत सिंह गौहर ए मस्कीन ने तख्त साहिब में प्रवेश कर सेवा की है.

पटना सिटी. तख्त श्री हरिमंदिर जी पटना साहिब में जत्थेदार ज्ञानी रणजीत सिंह गौहर ए मस्कीन ने दरबार साहिब में शनिवार को भी सेवा की. जत्थेदार ने कहा कि गुरु महाराज की मेहर से सेवा का मौका मिला है. प्रबंधक कमेटी के महासचिव व सचिव की ओर से निर्गत आदेश के आलोक में वो गुरु महाराज के दरबार में सेवा करने जा रहे हैं. जत्थेदार ने कहा कि डॉ सामरा ने जो आरोप लगाये हैं, वे सिद्ध नहीं हुए. ऐसे में गुरु महाराज ने सेवा का मौका दिया है. दूसरी ओर, संगतों व सेवादारों ने प्रबंधक कमेटी के फैसले के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. उनका कहना है कि पंज प्यारों के आदेश के खिलाफ जत्थेदार ज्ञानी रणजीत सिंह गौहर ए मस्कीन ने तख्त साहिब में प्रवेश कर सेवा की है.

सेवादारों ने खोला मोर्चा

इसका विरोध करते हुए गुरु घर की मर्यादा को बचाने के लिए सेवादारों व संगतों की ओर से तख्त साहिब के मुख्य द्वार पर सतनाम वाहे गुरु की जाप करते हुए धार्मिक मोर्चा लगाया. मोर्चा में प्रबंधक कमेटी के सदस्य राजा सिंह, दया सिंह, तेजेंद्र सिंह बंटी, त्रिलोक सिंह निषाद, तेजेंद्र सिंह बग्गा, अमरजीत सिंह, शम्मी, आशीष कपूर, जसवंत सिंह, सुनीता कौर, मेनका कौर, रेखा कौर, विमला कौर, दीपक सिंह, देवेंद्र सिंह समेत दर्जनों की संख्या में सिख संगत व सेवादार उपस्थित थे. इस दौरान कार्यालय को भी बंद करा दिया गया.

सुरक्षा के वापस लेने की उठी मांग

सदस्य राजा सिंह ने कहा कि सुबह 11 बजे से दोपहर तीन बजे तक यह मोर्चा कायम रहेगा, जब तक रंजीत सिंह को दरबार साहिब की सेवा से बाहर नहीं निकाला जाता है. इन लोगों ने केंद्र सरकार की ओर से मिली वाई श्रेणी सुरक्षा के वापस लेने की मांग भी उठायी. दूसरी ओर, महासचिव व सचिव के आदेश के बाद प्रबंधक कमेटी के पद धारकों में भी मतभिन्नता उभर कर सामने आ गयी है. कार्यकारी अध्यक्ष जगजोत सिंह सोही का कहना है कि बिना अनुमति व सदस्यों के रायशुमारी के यह पत्र निर्गत किया गया है.

Also Read: पटना साहिब में पांच करोड़ के दान ने मचाया बवाल, पक्ष रखने के लिए दानकर्ता व जत्थेदार को किया गया तलब
क्या है विवाद 

दरअसल विवाद की वजह यह है कि जालंधर करतारपुर निवासी डॉ गुरविंदर सिंह सामरा की ओर से तख्त साहिब में दान में दी गयी करोडों रुपए मूल्य के सोने-चांदी के जेवरात की गुणवत्ता पर उठे विवाद व प्रकरण में तख्त साहिब के पंज प्यारों ने तख्त के जत्थेदार रहे ज्ञानी रणजीत सिंह गौहर ए मस्कीन को बीते 11 सितंबर को तनखैया की सजा सुनायी थी. इस दौरान डॉ सामरा को धार्मिक सजा सुनाई गई थी, जिसमें सामरा सजा पूरी कर दोष मुक्त हो गये हैं.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें