Patna Metro Project: पटना मेट्रो का काम अब गति पकड़ रहा है. हर जगह इसके स्ट्रक्चर और निर्माण कार्य के स्वरूप को देखा जा सकता है. इससे जुड़े एक अधिकारी ने बताय कि प्राथमिक कॉरिडोर मलाही पकड़ी और पाटलिपुत्र इंटर-स्टेट बस टर्मिनल (आइएसबीटी) के बीच है और 92 से अधिक खंभों का निर्माण किया गया जा चुका है. अधिकारी के मुताबिक प्राथमिकता वाले गलियारे पर सिविल कार्य 2024 की अंतिम तिमाही तक तैयार हो जाना है, जिसके बाद बिजली और रोलिंग स्टॉक का काम शुरू हो जायेगा. यू-गार्डर की लॉन्चिंग भी शुरू कर दी गयी है. प्रायोरिटी कॉरिडोर (मलाही पकड़ी से आइएसबीटी) में 41 प्रतिशत कार्य पूरा हो गया है. इस कॉरिडोर के तीन स्टेशन आइएसबीटी, खेमनीचक और भूतनाथ रोड के लिए क्रॉस आर्म के इरेक्शन का कार्य शुरू हो गया जबकि एक अन्य स्टेशन मलाही पकड़ी में क्रॉस आर्म के इरेक्शन की तैयारियां चल रही है.
प्रायोरिटी कॉरिडोर पर बनने वाले सभी पिलर लगभग तैयार हो चुके हैं, जिन पर फिलहाल यू-गार्डर रखने का काम चल रहा है. गार्डर रखने के बाद आधार तैयार हो जायेगा, जिस पर ट्रैक बिछाने के साथ ही इलेक्ट्रिक आदि काम होंगे. लगभग सात किमी लंबे इस कॉरिडोर पर पांच मेट्रो स्टेशन मलाही पकड़ी, खेमनीचक, भूतनाथ, जीरो माइल और पाटलिपुत्र बस टर्मिनल बनाया जाना है. पाटलिपुत्र बस टर्मिनल के पास बनाये जाने वाले मेट्रो स्टेशन को लेकर पिछले महीने ही में क्रॉस आर्म लांच किये गये थे. आइएसबीटी के पास ही डिपो निर्माण के लिए भी जमीन की बाधा दूर होने के बाद काम शुरू हो चुका है. मेट्रो से जुड़े अफसरों के मुताबिक 2024 तक प्रायोरिटी कोरिडोर का सिविल काम खत्म करने का लक्ष्य है. सबसे पहले प्रायोरिटी कोरिडोर के पांच स्टेशनों के बीच ही मेट्रो ट्रेन शुरू होने की उम्मीद है.
मोइन-उल-हक अंडरग्राउंड मेट्रो स्टेशन से पटना विवि तक टनलिंग (भूमिगत खुदाई) कार्य ने स्पीड पकड़ ली है. पहले टनल बोरिंग मशीन (टीबीएम) ने करीब 40 मीटर खुदाई का कार्य लाइनिंग के साथ गति में पूरा कर लिया है, जबकि उसी जगह से लांच दूसरी टनल बोरिंग मशीन से भी दो-तीन पहले खुदाई शुरू हो गयी है.
दानापुर से पटना जंक्शन रूट पर भी काम के लिए एलएंडटी कंपनी को जिम्मेदारी सौंप दी गयी है. खगौल से आरपीएस मोड़ तक एलिवेटेड जबकि आरपीएस से पटना जंक्शन तक अंडरग्राउंड लाइन प्रस्तावित है. पटना मेट्रो के 17.93 किलोमीटर लंबे एलिवेटेड कॉरिडोर व सेक्शन के लिए सबसे पहला 70 टन प्रीकास्ट पियर कैप सोमवार को लांच किया गया. इस पियर कैप की लंबाई 10.098 मीटर है. यह मील का पत्थर मीठापुर मेट्रो स्टेशन के पास स्थित वायाडक्ट में पियर/पिलर नंबर 115 पर हासिल किया गया.
डीएमआरसी के अधिकारियों ने बताया कि पियर-कैप को कास्टिंग यार्ड में प्रीकास्ट किया जाता है और क्रेन की मदद से इसे पियर पर लांच किया जाता है. इनके दो पियर कैप्स के बीच यू-गर्डर लॉन्च किये जायेंगे, जिस पर मेट्रो ट्रैक बिछाया जायेगा. मालूम हो कि कॉरिडोर वन में कुल 14 एलिवेटेड और अंडरग्राउंड स्टेशन हैं. इसमें सात एलिवेटेड स्टेशन दानापुर छावनी, सगुना मोड़, आरपीएस मोड़, पाटलिपुत्र, मीठापुर, रामकृष्ण नगर और जगनपुरा जबकि सात भूमिगत स्टेशन रुकनपुरा, राजा बाजार, पटना चिड़ियाघर, विकास भवन, विद्युत भवन, पटना स्टेशन हैं. पटना स्टेशन और खेमनी चक इंटरचेंज स्टेशन हैं, जहां से कॉरिडोर वन और कॉरिडोर टू दोनों के लिए मेट्रो मिल सकेगी.
पटना जंक्शन रेलवे स्टेशन के पास बनने वाला मेट्रो स्टेशन ”पटना स्टेशन ” डबल लेयर होगा. अंडरग्राउंड इंटरचेंज स्टेशन होने की वजह से यहां पर जमीन से आठ मीटर की गहराई पर दो प्लेटफॉर्म बनेंगे. इसके निचले हिस्से से कॉरिडोर वन यानि बेली रोड, दानापुर या खेमनीचक जाने के लिए ट्रेनें मिलेंगी. वहीं, ऊपरी हिस्से से कॉरिडोर दो यानि अशोक राजपथ-राजेंद्र नगर-कंकड़बाग होते हुए पाटलिपुत्र बस टर्मिनल जाने के लिए ट्रेनें पकड़ी जा सकेंगी.
पीएमआरसीएल ने एलिवेटेड कॉरिडोर के निर्माण के साथ ही मेट्रो के लिए डेडिकेटेड बिजली सब स्टेशनों की तैयारी कर ली है. इन बिजली सब स्टेशनों व ओवरहेड वायरिंग की निगरानी को स्काडा सेंटर भी बनाया जायेगा. कंपनी ने इसको लेकर करीब 145 करोड़ रुपये खर्च का अनुमान रखा है. चयनित एजेंसी दोनों रूट पर ओवरहेड वायर सिस्टम, स्विचिंग पोस्ट, 33 केवी रिंग व एलिवेटेड सेक्शन के लिए सब स्टेशन का निर्माण करने के साथ ही बिजली से जुड़े तमाम काम 36 महीने में पूरा करेगी. फिलहाल न्यू आइएसबीटी व मीठापुर में सब स्टेशन का निर्माण होना है.
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इसमें 7.393 किमी एलिवेटेड होगा और भूमिगत 10.54 किमी होगा. इस प्रकार कुल 17.933 किमी में कॉरिडोर-1 बनेगा.
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स्टेशन का नाम और उसकी प्रकृति
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दानापुर- उपरिगामी
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सगुना मोड़- उपरिगामी
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आरपीएस मोड़- उपरिगामी
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पाटलिपुत्र- उपरिगामी
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रुकनपुरा- भूमिगत
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राजा बाजार- भूमिगत
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पटना चिड़ियाघर- भूमिगत
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विकास भवन- भूमिगत
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विद्युत भवन- भूमिगत
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पटना स्टेशन- भूमिगत
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मीठापुर- उपरिगामी
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रामकृष्ण नगर- उपरिगामी
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जगनपुरा- उपरिगामी
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खेमनीचक- उपरिगामी
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14.564 किमी के इस कॉरिडोर में कुल 6.638 किमी उपरिगामी और 7.926 भूमिगत होगा.
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स्टेशन का नाम और उसकी प्रकृति
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पटना जंक्शन- भूमिगत
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आकाशवाणी- भूमिगत
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गांधी मैदान- भूमिगत
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पीएमसीएच- भूमिगत
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पटना विश्वविद्यालय- भूमिगत
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मोइनुल हक स्टेडियम- भूमिगत
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राजेंद्र नगर- भूमिगत
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मलाही पकड़ी- उपरिगामी
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खेमनीचक– उपरिगामी
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भूतनाथ रोड- उपरिगामी
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जीरो माइल- उपरिगामी
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पाटलिपुत्र आइएसबीटी- उपरिगामी
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