15.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

बिहार में SC-ST मामले में अब चलेगा स्पीडी ट्रायल, 60 दिन में दाखिल करनी होगी चार्जशीट

मुख्यमंत्री ने कहा कि डीएम और एसपी अपने-अपने जिलों में कनविक्शन रेट और स्पीडी ट्रायल को लेकर लगातार समीक्षा करें. उन्होंने कहा कि एससी-एसटी (अत्याचार निवारण) अधिनियम के तहत जिलास्तर पर अत्याचार के पीड़ित व आश्रितों को राहत अनुदान की स्वीकृति तत्काल दी जाए.

बिहार में अब एससी-एसटी अत्याचार मामलों में 60 दिनों में आरोपपत्र दाखिल करना होगा. साथ ही ऐसे मामलों में स्पीडी ट्रायल चला कर पीड़ितों को न्याय दिलाया जायेगा. बुधवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने इस संबंध में अधिकारियों को निर्देश दिया. उहोंने डीजीपी को एससी-एसटी एक्ट के तहत दर्ज मामलों की समीक्षा करने के निर्देश दिये.

तय समय पर हो मुआवजे का भुगतान 

सीएम ने कहा कि जिलों में डीएम व एसपी दर्ज मामलों की समीक्षा करें और पीड़ितों को तय समय पर मुआवजे का भुगतान कराएं. मुख्यमंत्री एससी-एसटी (अत्याचार निवारण ) अधिनियम 1995 के तहत गठित राज्य स्तरीय सतर्कता और मॉनीटरिंग समिति की बैठक को संबोधित कर रहे थे. बैठक का आयोजन मुख्यमंत्री सचिवालय स्थित संवाद में किया गया था.

तेजी से सुनवाई की व्यवस्था के लिए निर्देश 

सीएम ने अधिकारियों से कहा कि जल-जीवन-हरियाली अभियान में सार्वजनिक संरचनाओं को अतिक्रमण मुक्त कराने के लिए विस्थापित व वास-भूमि विहीन परिवारों को वास-भूमि जल्द उपलब्ध करवाएं. जिला स्तर पर गठित सतर्कता और मॉनीटरिंग समिति के कार्यकलापों की भी नियमित समीक्षा करें. इस अधिनियम के तहत दर्ज कांडों के त्वरित निष्पादन के लिए गठित विशेष न्यायालयों में दर्ज मामलों की तेजी से सुनवाई की व्यवस्था हो. इसके लिए योग्य विशेष लोक अभियोजकों को दायित्व सौंपें. गृह और विधि विभाग कनविक्शन रेट में सुधार सहित लंबित मामलों में कमी लाने के लिए नियमित मॉनीटरिंग करें.

जिलों में समीक्षा का निर्देश

बैठक में मुख्यमंत्री ने कहा कि डीएम और एसपी अपने-अपने जिलों में कनविक्शन रेट और स्पीडी ट्रायल को लेकर लगातार समीक्षा करें. उन्होंने कहा कि एससी-एसटी (अत्याचार निवारण) अधिनियम के तहत जिलास्तर पर अत्याचार के पीड़ित व आश्रितों को राहत अनुदान की स्वीकृति तत्काल दी जाए. मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार में आने के बाद सर्वे में पता चला कि 12.5 प्रतिशत बच्चे-बच्चियां स्कूल नहीं जा पाते हैं. इनमें अधिकतर महादलित एवं अल्पसंख्यक वर्गों के बच्चे थे. सभी बच्चे-बच्चियों को स्कूल पहुंचाया गया.

Also Read: पटना में छात्रा से छेड़खानी का विरोध: सड़क पर उतरे विद्यार्थी, आरोपित वकील का लाइसेंस रद्द करने की मांग
मुख्यमंत्री को दी गयी विस्तृत जानकारी 

बैठक में शामिल सदस्यों ने अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति के कल्याण के कार्यों और बेहतर ढंग से क्रियान्वित करने के लिए जो सुझाव दिये, विभाग उस पर भी तेजी से काम करे. इससे पहले बैठक में अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति कल्याण विभाग के सचिव दिवेश सेहरा ने प्रजेंटेशन के माध्यम से मुख्यमंत्री को विस्तृत जानकारी दी.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें