गोड्डा-पीरपैंती मुख्य मार्ग NH 133 के मेहरमा- सिद्धो कान्हू चौक के पास गड्ढे में तब्दील मुख्य सड़क में जमे पानी में महगामा की कांग्रेस विधायक दीपिका पांडेय सिंह जल सत्याग्रह पर बैठी. करीब तीन घंटे तक यहीं बैठी रही. इसी गड्ढे में महीनों से जमा पानी में स्नान कर विरोध जताया. इस दौरान विधायक ने कहा कि NHAI की ओर से सड़क मरम्मती का काम नहीं होता, तब तक जल सत्याग्रह जारी रहेगा. इस मामले में सीएम ने विधायक से बात जल्द काम शुरू करने का आश्वासन दिया. सीएम के आश्वासन के बाद विधायक ने जल सत्याग्रह खत्म किया.
गोड्डा-पीरपैंती मुख्य मार्ग में गड्ढे के कारण पानी जमा होने से हर दिन सड़क दुर्घटना होती है. इसके बावजूद NHAI के अधिकारी इसे मरम्मत कराने की दिशा में कोई कार्रवाई नहीं करते. विधायक दीपिका पांडेय सिंह ने विभाग को कई बार मरम्मत करने को कहा, इसके बावजूद उनकी बातों को अनसुना किया गया. मुख्य सड़क पर बने गड्ढे में पानी भरे रहने से आवागमन में भी काफी परेशानी होती है. इससे नाराज विधायक ने बुधवार की सुबह जल सत्याग्रह पर बैठ गयी. विधायक के साथ बीस सूत्री अध्यक्ष शशांक शेखर सिन्हा सहित कांग्रेस के अन्य कार्यकर्ता भी बैठ गये.
इस संबंध में विधायक दीपिका पांडेय सिंह ने कहा कि महागामा वासियों के साथ सौतेला व्यवहार किया जा रहा है. केंद्रीय सरकार अदाणी के लिए रेल ला सकती है, मगर महगामा से पीरपैंती तक रेललाइन नहीं ला रही है. क्षेत्र में लगातार घोषणा हो रही है मगर योजनाएं धरातल पर नहीं दिख रही है.
उन्होंने कहा कि यह सड़क पहले पथ निर्माण विभाग के पास था तो ठीक था. स्थानीय जन प्रतिनिधियों के कहने पर काम हो जाता था. विभाग भी इस बात पर गंभीर रहती थी. लेकिन, जब से यह सड़क एनएच 133 के तहत NHAI के अधीन आया, तब से सड़क बनाने की दिशा में पहल नहीं की जा रही है. पिछले तीन महीने से लगातार विभाग से बातें हो रही है, इसके बावजूद पहल नहीं किया जा रहा है. सड़क की दुर्दशा को लेकर तात्कालिक तौर पर PWD से घोरीचक के पास ठीक कराया गया. कहा कि केंद्र सरकार सिर्फ पूंजीपतियों के लिए कार्य कर रही है. इधर, तीन घंटे के आंदोलन के दौरान सड़क की दोनों तरफ तीन किमी तक बिहार और झारखंड क्षेत्र में गाड़ियों का तांता लगा गया.
कांग्रेस विधायक के जल सत्याग्रह पर बैठने की जानकारी मिलते ही मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने फोन पर विधायक से बात की. सीएम ने जल्द काम शुरू करने का आश्वासन दिया. सीएम के आश्वासन के बाद तीन घंटे से जल सत्याग्रह पर बैठी विधायक ने आंदोलन वापस लिया. वहीं, सीएम के निर्देश के बाद जिला प्रशासन ने सड़क से जमा पानी निकालकर गड्डे की भरायी शुरू कर दी.