इलाहाबाद : हिंदी साहित्य के प्रमुख रचनाकार दूधनाथ सिंह इन दिनों गंभीर रूप से बीमार हैं. कल उन्हें कर्नलगंज स्थित फिनिक्स नर्सिंग होम में भरती कराया गया. दूधनाथ सिंह पिछले एक साल से प्रोस्टेट कैंसर से पीड़ित हैं. उनका इलाज अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान, दिल्ली की देखरेख में चल रहा है. अभी उनकी स्थिति गंभीर बनी हुई है और परिजन उनके स्वास्थ्य को लेकर चिंतित हैं.
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हिंदी साहित्य के प्रमुख रचनाकार दूधनाथ सिंह अस्पताल में भरती, प्रोस्टेट कैंसर से हैं पीड़ित
इलाहाबाद : हिंदी साहित्य के प्रमुख रचनाकार दूधनाथ सिंह इन दिनों गंभीर रूप से बीमार हैं. कल उन्हें कर्नलगंज स्थित फिनिक्स नर्सिंग होम में भरती कराया गया. दूधनाथ सिंह पिछले एक साल से प्रोस्टेट कैंसर से पीड़ित हैं. उनका इलाज अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान, दिल्ली की देखरेख में चल रहा है. अभी उनकी स्थिति गंभीर […]
दूधनाथ सिंह का जन्म उत्तर प्रदेश के बलिया जिले के सोबंथा गांव में 17 अक्टूबर 1936 को हुआ है. इलाहाबाद विश्वविद्यालय से हिंदी साहित्य में एम ए करने के पश्चात कुछ दिनों तक (1960-62) कलकत्ता में अध्यापन करने के पश्चात् इलाहाबाद विश्व विद्यालय के हिंदी विभाग में प्राध्यापन करने लगे.
उनकी प्रमुख कृतियां हैं:- उपन्यास- ‘आखिरी कलाम’, ‘निष्कासन’, ‘नमो अन्धकारम’
कहानी संग्रह- ‘सपाट चहरे वाला आदमी’, ‘सुखांत’, ‘प्रेमकथा का अंत न कोई’, ‘माई का शोकगीत’, ‘धर्मक्षेत्रे-कुरुक्षेत्रे’, ‘तू-फू’, ‘कथा समग्र’ नाटक- ‘यमगाथा’ कविता-संग्रहः ‘अपनी शताब्दी के नाम’, ‘एक और भी आदमी है’, ‘युवा खुशबू’, लंबी-कविताः ‘सुरंग से लौटते हुए’.
आलोचना- ‘आत्महंता आस्था’ (निराला की कविताओं पर एक समग्र किताब), ‘महादेवी’ (महादेवी की रचनाओं पर एक किताब)
संस्मरणः ‘लौट आ ओ धार’ साक्षात्कार और आलोचनाः ‘कहा-सुनी’
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