Jharkhand News: झारखंड ऊर्जा विकास निगम के अधीन कार्यरत वितरण, संचरण और उत्पादन निगम के 10 वर्षों से कार्यरत अस्थायी कर्मियों की सेवा नियमित होगी. इसकी प्रक्रिया शुरू कर दी गयी है. झारखंड बिजली वितरण निगम के उप-महाप्रबंधक (एचआर) अभिषेक कुमार ने तीनों कंपनियों के निदेशकों, महाप्रबंधकों व अन्य अधिकारियों को इस बाबत पत्र लिखकर कर्मियों की सूची मांगी है.
उन्होंने झारखंड ऊर्जा विकास निगम लिमिटेड और इसकी अनुषंगी कंपनियों में अनियमित रूप से नियुक्त और कार्यरत कर्मियों की विवरणी अनुशंसा सहित दिनांक 31.8.2022 तक देने का निर्देश दिया है. मामले में विलंब होने पर जवाबदेही निर्धारित की जा सकती है.
उप-महाप्रबंधक ने लिखा है कि अनियमित रूप से नियुक्त एवं कार्यरत कर्मियों की वांछित विवरणी निर्धारित तिथि के पूर्व यानी कि 20 अगस्त तक झारखंड ऊर्जा विकास निगम लिमिटेड को उपलब्ध कराना है. इसे अति आवश्यक समझा जाये. ज्ञात हो कि सुप्रीम कोर्ट और हाइकोर्ट के आदेश के आलोक में 20 जून 2019 को कार्मिक विभाग ने ऐसे कर्मियों की सेवा नियमित करने का निर्णय लिया था, जो 10 या इससे अधिक वर्षों से अस्थायी तौर पर नियुक्त हैं. इसी आलोक में बिजली निगम में अब प्रक्रिया शुरू कर दी गयी है. सितंबर 2016 में ही झारखंड ऊर्जा विकास निगम ने 10 वर्षों से अधिक समय से कार्यरत अनियमित कर्मियों की सेवा नियमित करने को लेकर संकल्प जारी कर दिया था. अब इस आलोक में सूची मांगी गयी है. इसके बाद ऐसे कर्मियों की सेवा नियमित की जायेगी.
झारखंड पावर वर्कर्स यूनियन ने ऊर्जा विकास निगम की इस पहल का स्वागत किया है. संघ के अध्यक्ष आशीष कुमार ने कहा कि अनुबंध कर्मियों को नियमित करने की मांग को लेकर संघ लगातार संघर्ष कर रहा था. इसके तहत पिछले दिनों भूख हड़ताल जैसे आंदोलन भी किये गये थे. इसका परिणाम है कि अब सभी अनुबंध कर्मी नियमित होंगे. आशीष कुमार ने अध्यक्ष सह प्रबंध निदेशक को धन्यवाद देते हुए कहा कि यह संघ की पुरानी मांग थी, जिसे प्रबंधन ने पूरा कर कर्मचारियों की झोली में खुशी डालने का काम किया है.