Jharkhand News: जेई (कनीय अभियंता) प्रश्न पत्र लीक मामले में पुलिस ने आरोपी रंजीत मंडल को ओडिशा से गिरफ्तार कर लिया है. ग्रामीण एसपी नौशाद आलम ने बताया कि सरगना की तलाश में छापामारी की जा रही है. इसमें झारखंड कर्मचारी चयन आयोग के कर्मी के मिलीभगत को लेकर भी जांच जारी है. इन्होंने बताया कि बड़ा गिरोह है जो 15-20 लाख रुपये में प्रश्न पत्र बेचता है.
ग्रामीण एसपी ने दी जानकारी
झारखंड कर्मचारी चयन आयोग (जेएसएससी) के द्वारा कनीय अभियंता (जेई) की नियुक्ति को लेकर 3 जुलाई 2022 को सुबह 10 बजे से लिखित परीक्षा ली गई थी, परंतु परीक्षा से दो घंटे पहले ही प्रश्न पत्र लीक होकर वायरल होने लगा था. ग्रामीण एसपी नौशाद आलम ने प्रेस वार्ता कर बताया कि परीक्षा के प्रश्न पत्र लीक होने का आरोप लगाकर अभ्यर्थियों ने हंगामा किया था. धनबाद (महुदा) के अभ्यर्थी मिथिलेश कुमार सिंह (पिता गोपाल प्रसाद महतो) ने 14 जुलाई को परीक्षा से पूर्व प्रश्न पत्र ह्वाट्सएप में वायरल किए जाने की प्राथमिकी दर्ज कराई थी.
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आरोपी रंजीत मंडल अरेस्ट
पुलिस ने धारा 467/468/420/120 बी, 66 आईटी एक्ट एवं बिहार परीक्षा संचालन अधिनियम 1981 की धारा 10 के अंतर्गत प्राथमिकी दर्ज कर अनुसंधान किया एवं आरोपी रंजीत मंडल (पिता प्रकाश मंडल), बंगारो, थाना- देवरी, जिला-गिरिडीह निवासी को 21 जुलाई को ओडिशा के क्योंझर से गिरफ्तार किया. आरोपी के पास से मोबाइल जब्त किया गया. उसके ह्वाट्सएप नंबर 7488121791 से प्रश्न पत्र वायरल किया गया था. ग्रामीण एसपी ने बताया कि आरोपी ने अपराध स्वीकार करते हुए संलिप्त अन्य लोगों की जानकारी दी है. सरगना सहित अन्य की गिरफ्तारी के लिए छापामारी जारी है.
आयोग के कर्मी की मिलीभगत से प्रश्न पत्र हुआ लीक
ग्रामीण एसपी ने बताया कि प्रश्न पत्र लीक एवं वारयल करने का बड़ा गिरोह है. इसमें बिहार, झारखंड सहित अन्य राज्य के लोग शामिल हैं. अभ्यर्थियों ने 15- 20 लाख रुपये देकर प्रश्न पत्र दिया जाता था. पूरे प्रकरण में चयन आयोग के भी कुछ लोग शामिल हैं क्योंकि बिना उनके सहयोग से प्रश्न पत्र लीक होना संभव नहीं है. जांच की जा रही है. जो भी दोषी पाए जाएंगे. उनके खिलाफ कानून सम्मत कार्रवाई की जाएगी.
रिपोर्ट : राजेश वर्मा, नामकुम, रांची