Next Chandra Grahan 2021 In India Date And Time, Rashifal: इस साल कुल 4 ग्रहण लग रहे हैं है जिसमें दो ग्रहण लग चुका है जबकि दो बाकी है. साल का दूसरा और आखिरी ग्रहण नवंबर माह में लगने वाला है जबकि अंतिम सूर्य ग्रहण दिसंबर में लगेगा. आइये जानते हैं अगले चंद्र ग्रहण से संबंधित सभी डिटेल..
साल का आखिरी चंद्रग्रहण 19 नवंबर 2021, शुक्रवार को लगने वाला है. हालांकि, इस बार कुल चार ग्रहण पड़े है जिसमें यह तीसरा ग्रहण होगा.
इस बार साल का दूसरा चंद्रग्रहण 19 नबंवर 2021 को दोपहर 11 बजकर 30 मिनट पर लगने वाला है. जो भारतीय समयानुसार शाम 05 बजकर 33 मिनट पर पड़ेगा.
इस मामले के जानकारों की मानें तो नवंबर में पड़ने वाला चंद्र ग्रहण उपछाया ग्रहण है. जो भारत में नहीं दिखाई देगा. यही कारण है कि इसका सूतक काल भी मान्य नहीं होगा.
दरअसल, चंद्रग्रहण के शुरू होने से 09 घंटे पूर्व सूतक काल आरंभ होता है. जिस दौरान किसी भी प्रकार के शुभ कार्यों की मनाही होती है.
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साल का आखिरी चंद्र ग्रहण वृषभ राशि में लगने वाला है. ऐसे में इस दौरान वृषभ राशि के जातकों को विशेष रूप से सतर्क रहने की जरूरत होगी. इस दौरान किसी से वाद-विवाद से बचना होगा, क्रोध, तनाव को दूर करना होगा. वाहन चलाते समय सावधनी बरतना होगा. राहु का वृष राशि में गोचर हो रहा है ऐसे में वाणी पर लगाम नहीं लगाने से भारी नुकसान उठाना पड़ सकता है.
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19 नवंबर को केतु वृश्चिक राशि में विराजमान रहने वाले हैं. ऐसे में इस दौरान किसी भी प्रकार का अवैध कार्य करने से बचना होगा. फिजूल खर्च आपको भारी पड़ सकता है. इस दौरान निवेश भूल कर भी न करें. गलत संगत या नशा से दूर रहने की कोशिश करें.
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ग्रहण का वैज्ञानिक और धार्मिक दोनों महत्व होता है. कुछ लोगों का मानना है कि समुद्र मंथन के दौरान अमृत की बूंदे पीने से स्वरभानु राक्षस अमर हो गया. जिसकी सूचना सूर्य और चंद्रमा ने भगवान विष्णु को दे दी.
जिससे क्रोधित होकर भगवान विष्णु ने अपने सुदर्शन चक्र से स्वरभानु राक्षस का सिर धड़ से अलग कर दिया. लेकिन, अमृत की कुछ बूंदे तब तक उसके गले से नीचे उतर चुकी थी. जिसके कारण वह अमर हो गया.
बाद में सिर वाले राहु के नाम से जबकि, धड़ वाला हिस्सा केतु के नाम से जाना जाने लगा. क्योंकि सूर्य और चंद्रमा ने इसकी जानकारी भगवान विष्णु को दी थी ऐसे में राहु और केतु बार-बार अलग-अलग समय में सूर्य और चंद्रमा पर हमला करके उन्हें कमजोर करने की कोशिश करते हैं. इसलिए ही कहा जाता है कि जिस सम चंद्रमा और सूर्य ग्रहण लगता है उस समय वातावरण में नकारात्मक शक्तियां उत्पन्न हो जाती है. यही कारण है इस दौरान कोई भी शुभ कार्य यहां तक कि बाहर निकलना भी वर्जित माना गया है.
Posted By: Sumit Kumar Verma