Grah Dosh in Kundli: हर व्यक्ति के जीवन में ग्रह-नक्षत्रों का प्रभाव देखने को मिलता है. किसी व्यक्ति पर ग्रहों का शुभ प्रभाव पड़ता है तो किसी पर अशुभ. ग्रहों के प्रभाव को शांत करने के लिए हर कोई रत्न धारण करते है. राशिचक्र की 12 राशियों के अलग-अलग रत्न होते हैं. ज्योतिष के अनुसार, कुंडली में राशि के स्वामी की स्थिति के आधार पर रत्न पहनने की सलाह दी जाती है. रत्न पहनने का तभी फायदा होता है जब इनका स्पर्श पहनने वाले के शरीर से हो.
ग्रहों के अनुसार भी रत्नों को बांटा गया है. जैसे, माणिक्य सूर्य का रत्न है, चन्द्र का रत्न मोती, बुध का रत्न पन्ना, गुरु का रत्न पुखराज, मंगल का रत्न मूंगा, शुक्र का रत्न हीरा, शनि का रत्न नीलम, राहु का रत्न गोमेद और केतु का रत्न लहसुनिया है. आइए जानते है संजीत कुमार मिश्रा, ज्योतिष एवं रत्न विशेषज्ञ से स्वास्थ्य समस्या और आर्थिक स्थिति ठीक करने के लिए किस ग्रह के रत्न धारण करनी जाहिए…
प्रत्येक जातक का लग्न भिन्न भिन्न होता है
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प्रत्येक लग्न में 1,5,9 लग्न, पंचम, नवंम भाव स्वास्थ्य के लिए शुभ होते हैं
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2,6,10 भाव आय के लिये शुभ होते हैं
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कुण्डली में आय के भाव हैं 1, 2, 3, 6,10,11,
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कुण्डली में स्वास्थ्य के भाव हैं 1, 5, 9, 11
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जब समस्या स्वास्थ्य से सबन्धित हो, तो हम 1, 5, 9 में बैठे ग्रह का यां इनके नक्षत्रों में बैठे ग्रह का रत्न धारण कर स्वास्थ्य लाभ लें सकते हैं.
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जब आय से सबन्धित हो तब 2, 6,10 भाव में स्थित ग्रह का अथवा 2, 6, 10 भाव में बैठे ग्रहों के नक्षत्र में स्थित ग्रह का रत्न धारण कर आय के स्त्रोत में वृद्धि कर सकते हैं
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वैदिक ज्योतिष्य अनुसार प्रत्येक लग्न की कुण्डली में लग्नेश, पंचमेश, नवमेश शुभ ग्रह होते हैं.
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इन तीनों ग्रहों में से किसी ग्रह का रत्न धारण करवाने से पहले हम ये देखें कि ये ग्रह 6, 8, 12वें भाव में बैठे ग्रह के नक्षत्र में यां उप नक्षत्र में तो नहीं हैं. अथवा 6, 8,12 भाव के स्वामियों के नक्षत्र में तो नही हैं.
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लग्नेश, पंचमेश, नवमेश ये तीनों ग्रह स्वास्थ्य के लिये अत्यंत शुभ ग्रह हैं.
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अच्छे स्वास्थ्य के लिए इनमें से कोई ग्रह 1, 5, 9 भाव में स्थित ग्रह के नक्षत्र उप नक्षत्र में हो तो उस ग्रह का रत्न धारण कर सकते है.
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ये ग्रह 5, 9 से जुड़े होने से स्वास्थ्य के लिये तो ठीक है, लेकिन आय के लिये ठीक नहीं अतः ध्यान रखें.
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अगर कुण्डली जातक की समस्या आय से सबन्धित हो तो जो ग्रह 5, 9 भाव से जुड़े हैं, वे आय के लिये उपयुक्त नहीं अतः इस ग्रह का रत्न धारण नही करवाएं.
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जब हमें आय के स्त्रोत बढ़ाने के लिये रत्न धारण करवाना हो तो 2,6,10,11,वें भाव के सूचक ग्रहों का चुनाव करें
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अगर लग्न, पंचम, नवंम भाव के स्वामी या इन भावों में बैठे ग्रह अगर 2,6,10,11वें भाव में बैठे ग्रह के नक्षत्र उप नक्षत्र में हैं तो ये ग्रह आय के लिये अत्यंत शुभ हैं अतः आय के लिये इन ग्रहों से सबन्धित रत्न धारण करवाया जा सकता है.
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जो ग्रह 1,5,9,11भावों के स्वामी होकर 2,6,10,11 भावों में बैठे ग्रह के नक्षत्र में हों यां इन 2,6,10,11भावों के स्वामियों के नक्षत्र में हों वे ग्रह कुण्डली के लिये अत्यंत शुभफल दायी होते हैं अतः ऐसे ग्रह का चुनाव कर रत्न धारण करें.
संजीत कुमार मिश्रा
ज्योतिष एवं रत्न विशेषज्ञ
मोबाइल नंबर- 8080426594-9545290847
Posted by: Radheshyam Kushwaha