इस दिन रखा जाएगा महाशिवरात्रि का व्रत, यहां देखें रात्रि चार प्रहर की पूजा का मुहूर्त

Maha Shivratri 2025: महाशिवरात्रि के अवसर पर भगवान शिव की उपासना के लिए चार प्रहर की पूजा का विशेष महत्व है. ज्योतिषाचार्य के अनुसार, यह पूजा सूर्यास्त से लेकर उषाकाल तक संपन्न होती है, जिसमें प्रत्येक प्रहर का अपना विशेष महत्व होता है.

By Shaurya Punj | February 15, 2025 8:59 AM

Maha Shivratri 2025: महाशिवरात्रि हिंदू धर्म में एक अत्यंत महत्वपूर्ण पर्व है, जिसे भगवान शिव के प्रति श्रद्धा और सम्मान के साथ मनाया जाता है. यह पर्व सर्दियों के समापन के समय, अर्थात् फरवरी के अंत या मार्च की शुरुआत में आता है, जब गर्मी का आगमन होने वाला होता है. वर्ष 2025 में, महाशिवरात्रि 26 फरवरी को मनाई जाएगी.

शिवरात्रि और महाशिवरात्रि के बीच अंतर

कई लोग यह मानते हैं कि शिवरात्रि और महाशिवरात्रि एक ही पर्व हैं, लेकिन वास्तव में इनमें भिन्नता है.

द्विजप्रिय संकष्टी चतुर्थी पर इन मंत्रों का करें जाप, गणेशजी करेंगे सब शुभ 

शिवरात्रि (मासिक शिवरात्रि)

भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा पूरे वर्ष की जाती है और हर महीने एक बार शिवरात्रि का आयोजन किया जाता है. इसे मासिक शिवरात्रि के नाम से भी जाना जाता है.

महाशिवरात्रि

यह 12 मासिक शिवरात्रियों में से एक सबसे आध्यात्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण पर्व है. यह पर्व फाल्गुन माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मनाया जाता है, जो भगवान शिव और माता पार्वती के विवाह का प्रतीक है.

महाशिवरात्रि 2025 का समय

चतुर्दशी तिथि

  • प्रारंभ: 26 फरवरी 2025, सुबह 11:08 बजे
  • समापन: 27 फरवरी 2025, सुबह 08:54 बजे

निशीता काल पूजा

समय: 27 फरवरी 2025, रात 12:08 बजे से 12:58 बजे तक

रात्रि के प्रहरों में पूजा

  • प्रथम प्रहर: 26 फरवरी 2025, शाम 06:18 बजे से 09:25 बजे तक
  • द्वितीय प्रहर: 27 फरवरी 2025, रात 09:25 बजे से 12:33 बजे तक
  • तृतीय प्रहर: 27 फरवरी 2025, रात 12:33 बजे से 03:40 बजे तक
  • चतुर्थ प्रहर: 27 फरवरी 2025, रात 03:40 बजे से 06:47 बजे तक

महाशिवरात्रि केवल एक उत्सव नहीं है, बल्कि यह भगवान शिव और माता पार्वती के विवाह का प्रतीक है, जो आध्यात्मिक ऊर्जा से परिपूर्ण होता है. मासिक शिवरात्रि हर महीने मनाई जाती है, किंतु महाशिवरात्रि अपनी विशेष तिथियों और पूजा के अनुष्ठानों के कारण विशेष महत्व रखती है. 2025 में, यह पर्व 26 फरवरी से प्रारंभ होकर 27 फरवरी तक चलेगा, जिसमें विभिन्न पूजा के प्रहर निर्धारित किए गए हैं.

जन्मकुंडली, वास्तु, तथा व्रत त्यौहार से सम्बंधित किसी भी तरह से जानकारी प्राप्त करने हेतु दिए गए नंबर पर फोन करके जानकारी प्राप्त कर सकते हैं.

ज्योतिषाचार्य संजीत कुमार मिश्रा
ज्योतिष वास्तु एवं रत्न विशेषज्ञ
8080426594/9545290847

Next Article

Exit mobile version