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ग्रहों के सेनापति मंगल करने जा रहे धनु राशि में प्रवेश, मेष-कर्क, तुला-धनु और मीन राशि वालों का होगा भाग्योदय

Mangal Gochar In Dhanu Rashi: मंगल ग्रह 27 दिसंबर 2023 को धनु राशि में गोचर करेंगे. मंगल ग्रह धनु राशि में 5 फरवरी 2024 तक रहेंगे. मंगल ग्रह का एक राशि में गोचर लगभग 45 दिनों तक चलता है और यह एक वर्ष में अपने 9 गोचर पूरे करते हैं.

By Radheshyam Kushwaha | November 27, 2023 12:07 PM
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Mangal Gochar In Dhanu Rashi: ज्योतिष शास्त्र में मंगल को ग्रहों के सेनापति कहा जाता है. मंगल ग्रह 27 दिसंबर 2023 की रात 11 बजकर 40 मिनट पर धनु राशि में गोचर करेंगे. मंगल ग्रह धनु राशि में 5 फरवरी 2024 तक रहेंगे, इसके बाद मंगल ग्रह 5 फरवरी 2024 को अपनी उच्च राशि मकर में संचरण करेंगे. मंगल ग्रह का एक राशि में गोचर लगभग 45 दिनों तक चलता है और यह एक वर्ष में अपने 9 गोचर पूरे करते हैं. मंगल ग्रह के गोचर का सीधेतौर पर प्रभाव मानव जीवन और देश-दुनिया पर देखने को मिलता है. ज्योतिष शास्त्र के अनुसार कुंडली में लग्न में या चंद्र राशि से पहले घर में गोचर के दौरान मंगल आपको साहसी बनाता है और आपको पहल करने, साहसिक कदम उठाने और अपने मजबूत व्यक्तित्व के साथ दूसरों का नेतृत्व करने के लिए प्रोत्साहित करता है.

मंगल गोचर इन राशि वालों के लिए शुभ

मंगल ग्रह के इस गोचर से मेष, कर्क, तुला, धनु, और मीन राशि के जातकों को धन लाभ और अपार सफलता मिलेगा, इसके साथ ही लंबे समय से रुके काम पूरे होंगे. कार्यस्थल में आपके काम की प्रशंसा होगी और उच्च अधिकारी भी प्रसन्न हो सकते हैं, इसके साथ ही आपकी आर्थिक स्थिति भी मजबूत हो सकती है. ज्‍योतिष के अनुसार मंगल हमारे शरीर में तामसिक ऊर्जा यानी कि नकारात्‍मक ऊर्जा को नियंत्रित करते हैं. मंगल के इस गोचर से सभी राशियों के जीवन पर प्रभाव पड़ेगा, लेकिन मेष, कर्क, तुला, धनु और मीन राशि के जातकों के लिए 2024 की शुरुआत बेहद शुभ होने वाला है.

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मंगल एक राशि में कितने दिन रहते हैं?

नवग्रहों में सूर्य-सिंह राशि, चंद्रमा-कर्क राशि, मंगल-मेष व वृश्चिक, बुध-मिथुन व कन्या, गुरु-धनु व मीन राशि, शुक्र-वृष व तुला तथा शनि-मकर व कुंभ राशि के स्वामी होते हैं. मकर राशि में मंगल उच्च के होते हैं. अतः मकर राशि के जातकों को सदैव शुभ फल प्राप्त होता है. मंगल चन्द्र की राशि कर्क में नीच के होते हैं. ज्योतिष शास्त्र के अनुसार मंगल ग्रह एक निश्चित अवधि में गोचर करते हैं. मंगल ग्रह 45 दिन तक एक ही राशि में विराजमान रहते हैं.

मंगल अशुभ कब होता है?

ज्योतिषाचार्यों के अनुसार यदि मंगल दूसरे भाव में हो, तो मंगल दोष बनता है. यदि आपकी जन्म कुंडली में मंगल पहले, चौथे, सातवें, आठवें और बारहवें भाव में स्थित है, तो इसे मंगल दोष कहा जाता है, इसके साथ ही लग्न कुंडली, शुक्र कुंडली और चन्द्र राशि कुंडली की गणना जन्म कुंडली में मांगलिक दोष की पहचान करती है.

कुंडली में मंगल अच्छा हो तो क्या होता है?

कुंडली में मंगल की स्थिति अच्छी हो तो व्यक्ति स्वभाव से निडर और साहसी होता है लेकिन अगल कुंडली में मंगल अशुभ स्थिति में हो तो व्यक्ति को कई तरह की कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है. कुछ मामलों में मंगल को क्रूर ग्रह भी कहा जाता है. कुंडली में मंगल पीड़ित हो तो जातक को कई तरह की गंभीर समस्या का सामना करना पड़ता है.

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कुंडली में कब तक होता है मांगलिक दोष

जब मंगल जन्म कुंडली के 1, 4, 7, 8 और 12वें घर में होते हैं तो जातक को मांगलिक माना जाता है. ज्योतिष शास्त्र के अनुसार 28 वर्ष की आयु तक इसका प्रभाव बहुत ज्यादा होता है और कई लोगों की राशि और कुंडली में 28 साल की उम्र के बाद ये समाप्त हो जाता है, वहीं कुछ लोगों के लिए इसका असर पूरे जीवन रहता है.

ज्योतिष संबंधित चुनिंदा सवालों के जवाब प्रकाशित किए जाएंगे

ज्योतिष शास्त्र में कई ऐसे उपाय बताए गए हैं, जिन्हें करने से जीवन की हर परेशानी दूर की जा सकती है. ये उपाय करियर, नौकरी, व्यापार, पारिवारिक कलह सहित कई अन्य कार्यों में भी सफलता दिलाते हैं. नीचे दिए गए विभिन्न समस्याओं के निवारण के लिए आप एक बार ज्योतिषीय सलाह जरूर ले सकते है. यदि आपकी कोई ज्योतिषीय, आध्यात्मिक या गूढ़ जिज्ञासा हो, तो अपनी जन्म तिथि, जन्म समय व जन्म स्थान के साथ कम शब्दों में अपना प्रश्न radheshyam.kushwaha@prabhatkhabar.in या WhatsApp No- 8109683217 पर भेजें. सब्जेक्ट लाइन में ‘प्रभात खबर डिजीटल’ जरूर लिखें. चुनिंदा सवालों के जवाब प्रभात खबर डिजीटल के धर्म सेक्शन में प्रकाशित किये जाएंगे.

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