Mokshada Ekadashi 2024: मोक्षदा एकादशी आज, जानें क्या कुंवारी कन्याएं रख सकती हैं ये व्रत

Mokshada Ekadashi 2024: आज 11 दिसंबर 2024 को मोक्षदा एकादशी का व्रत रखा जा रहा है. इस व्रत को लेकर ये असमंजस की स्थिति बनी रहती है, कि क्या कुंवारी कन्याएं इस व्रत को रख सकती हैं.

By Shaurya Punj | December 11, 2024 6:15 AM

Mokshada Ekadashi 2024: आज 11 दिसंबर 2024 को मोक्षदा एकादशी का व्रत रखा जाएगा. मार्गशीर्ष माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी को मोक्षदा एकादशी के नाम से जाना जाता है, क्योंकि इसी दिन श्रीकृष्ण ने महाभारत के युद्ध के दौरान कुरुक्षेत्र में अर्जुन को गीता का उपदेश दिया था. हिंदू धर्म में एकादशी के दिन को विशेष महत्व दिया गया है, किंतु मोक्षदा एकादशी को सभी एकादशियों में अत्यधिक पुण्यदायी माना जाता है. यदि किसी व्यक्ति से अनजाने में कोई त्रुटि हो गई हो और उसे उसका प्रायश्चित करना हो, तो मोक्षदा एकादशी से बेहतर कोई दिन नहीं हो सकता.

मोक्षदा एकादशी शुभ मुहूर्त

हिंदू पंचांग के अनुसार, मोक्षदा एकादशी इस वर्ष 11 दिसंबर को मनाई जाएगी. एकादशी तिथि का आरंभ 11 दिसंबर को प्रातः 3 बजकर 42 मिनट पर होगा और इसका समापन 12 दिसंबर की रात्रि 1 बजकर 09 मिनट पर होगा. मोक्षदा एकादशी का पारण इस बार प्रातः 7 बजकर 07 मिनट से लेकर 9 बजकर 09 मिनट तक किया जाएगा. मोक्षदा एकादशी के दिन तुलसी माता को लाल चुन्नी, सिंदूर, रोली, चंदन और नैवेद्य अर्पित किया जाता है. इस दिन तुलसी में जल अर्पित नहीं करना चाहिए और न ही तुलसी के पत्ते तोड़ने चाहिए.

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मोक्षदा एकादशी का व्रत काफी महत्वपूर्ण माना जाता है. हम आपको यहां बतानें जा रहे हैं क्या कुंवारी लड़कियां मोक्षदा एकादशी का व्रत रख सकती हैं:

  • मोक्षदा एकादशी का व्रत सच्चे मन और विधिपूर्वक करना चाहिए.
  • इस दिन व्रत रखने से जातकों के सभी पाप समाप्त होते हैं और उन्हें मोक्ष की प्राप्ति होती है.
  • मोक्षदा एकादशी के अवसर पर भगवान विष्णु की विशेष पूजा की जाती है.
  • इस दिन व्रत करने के लिए प्रातःकाल स्नान करके व्रत का संकल्प लेना आवश्यक है.
  • व्रत के दौरान भगवान श्री कृष्ण की पूजा करनी चाहिए और उन्हें धूप, दीप, नैवेद्य आदि अर्पित करना चाहिए.
  • इस दिन रात्रि में भी पूजा और जागरण का आयोजन करना चाहिए.
  • अगले दिन, अर्थात द्वादशी तिथि को व्रत का पारण करना चाहिए.
  • पारण के उपरांत विशेष वस्तुओं का दान करना चाहिए.
  • विष्णु जी को फल, मिठाई और अन्य चीज़ों का भोग अर्पित करें.

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