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Moon Effect: मानसिक स्थिती को नियंत्रित कर मिलता है राजयोग, जाने चंद्रमा के शुभ और अशुभ लक्षण के प्रभाव

Moon Effect in life: कुंडली के किन भावों में चंद्रमा की स्थिति शुभ मानी गयी है और किन भावों में बैठकर चंद्रमा जीवन में चुनौतियां पैदा कर सकता है आइए विस्तार से जानते हैं.

By Shaurya Punj | June 9, 2024 10:30 AM
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Moon Effect: ज्योतिषशास्त्र के अनुसार चन्द्रमा को मन का कारक कहा जाता है इन्हे रानी का पदवी दिया गाया है चंद्रमा के प्रभाव से व्योक्ति को राजयोग मिलता है चन्द्र का सम्बन्ध सरकार से होता है मन का संचालन चंद्रमा से होता है मन बलवान होगा तो चरित्र भी उत्तम होता है जिसे मान-सम्मान,धन,सुख तथा सम्मान का विचार चंद्रमा से होता है चंद्रमा कर्क राशि के स्वामी है तथा यह स्त्री कारक ग्रह है.इसलिए स्त्री के सम्पूर्ण शरीर का स्वामी चंद्रमा होते है चंद्रमा दया ,चरित्र का भी सूचक है चंद्रमा अगर दुसरे ग्रह के साथ होता है तो अपने भीतर उस ग्रह का प्रभाव लेकर कार्य करते है क्योंकि सूर्य के प्रकाश लेकर यह प्रकाशमय होता है ज्योतिषाचार्य संजीत कुमार मिश्रा के अनुसार अगर कुंडली में चंद्रमा उच्य के हो व्यक्ति को दयालु बनता है सदैव व्यक्ति का विचार शुभ आते है शुभ चंद्रमा के प्रभाव से स्त्री या पुरुष समाज में प्रतिष्ठित होते है,विदेश यात्रा करवाते है तरल पदार्थ से लाभ, जलीय स्थल से लाभ, स्त्री अपना मान सम्मान बचाने
में लगती है अगर चंद्रमा कमजोर हो व्यक्ति को ज्ञान की कमी होती है चंद्रमा वृष राशि में उच्य के होते है 03 अंश का और नीच वृश्चिक राशि में 03 अंश तक होते है

चंद्रमा के शुभ प्रभाव से लाभ

सूर्य से 72 अंश के अन्दर होने पर चंद्रमा बहुत ही शुभ होता है यदि सूर्य निर्बल हो तो अशुभता जो बनी हुई है वह दूर होता है.निर्बल सूर्य के होने पर चंद्रमा अपनी क्रांति को नहीं छोड़ता है जिसे व्यक्ति को उत्तम लाभ मिलता है.

शुक्लपक्ष की एकादशी से कृष्णपक्ष की पंचमी तक चंद्रमा अधिकतम बलशाली होता है जिसे व्यक्ति के अनुकूल होता है .

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कर्क राशि का चंद्रमा व्यक्ति को समन्तः व्यक्ति को मित्रो का प्यारा बनाता है सभी कार्य में आपके मित्र का सहयोग मिलता है.

चंद्रमा दुसरे भाव या नवमेश के साथ होने पर परोपकारी स्थिति देता है और पक्षपात हीन एवं खुल के बोलने वाले होते है.

वर्गोत्तम चंद्रमा संतोषजनक जीवन देता है .

बुध के नावमांस में चंद्रमा जातक को एक रंग रूप में बदल देता है साथ ही व्यक्ति के जीवन में धन की कमी नहीं होता है साथ ही सामाजिक क्षेत्र मजबूत बनता है.

चंद्रमा के प्रभाव से नुकसान

पूर्णिमा का चंद्रमा रिक्त संधि में शुभ नहीं माना जाता है इससे व्यक्ति के जीवन में कष्ट मिलता है.

चंद्रमा पर जितना अशुभ ग्रहों का प्रभाव होगा उतना ही अधिक चिंता करने वाला स्वभाव होता है.

कमजोर चंद्रमा जीवन को परिवर्तनशील और लचीला स्वभाव देता है

कुम्भ या मकर राशि के चंद्रमा व्यक्ति को पक्षपात बनता है.

उपाय

प्रत्येक सोमवार को भगवान शंकर का पूजन करे .
सोमवार को चावल ,दूध का दान करे.
कुंडली दिखाकर मोती रत्न धारण करे.
चांदी का छल्ला अनामिका ऊंगली में सोमवार को धारण करे.

जन्मकुंडली से सम्बंधित किसी भी तरह से जानकारी प्राप्त करने हेतु दिए गए नंबर पर फोन करके जानकारी प्राप्त कर सकते है .

ज्योतिषाचार्य संजीत कुमार मिश्रा
ज्योतिष वास्तु एवं रत्न विशेषज्ञ
8080426594/9545290847

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