Shardiya Navratri 2024 1st Day- Maa shailputri: शक्ति की आराधना का महान पर्व शारदीय नवरात्र का शुभारंभ आश्विन माह के शुक्ल पक्ष प्रतिपदा तिथि को मां शैलपुत्री की आराधना के साथ गुरूवार को आरंभ होने वाला है.माता शैलपुत्री की पूजा-अर्चना कलश स्थापना के पश्चात की जाती है.
मां शैलपुत्री का वस्त्र
यदि हम मां शैलपुत्री के वस्त्रों की चर्चा करें, तो वह सफेद वस्त्र धारण करती हैं. माता के दाहिने हाथ में त्रिशूल और बाएं हाथ में कमल सुशोभित है. मां के माथे पर चंद्रमा की आभा है. इसके अतिरिक्त, मां की सवारी नंदी है.
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मां शैलपुत्रि का रूप
मां शैलपुत्री के स्वरूप का वर्णन करते हुए कहा जा सकता है कि उनका रंग श्वेत है. माता ने सफेद वस्त्र धारण किए हुए हैं. उनकी सवारी वृषभ, अर्थात बैल है. मां शैलपुत्री ने दाहिने हाथ में त्रिशूल और बाएं हाथ में कमल धारण किया है. उनका यह रूप सौम्यता, करुणा, स्नेह और धैर्य का प्रतीक है.
मां शैलपुत्री की पूजा विधि
नवरात्रि के पहले दिन प्रातः स्नान करके तैयार हो जाएं.
इसके बाद मां का ध्यान करते हुए कलश की स्थापना करें.
कलश स्थापना के पश्चात मां शैलपुत्री के चित्र को स्थापित करें.
मां को कुमकुम और अक्षत अर्पित करें.
मां शैलपुत्री का ध्यान करें और उनके मंत्रों का जाप करें.
उन्हें सफेद पुष्प अर्पित करें.
अंत में मां शैलपुत्री की आरती उतारें और भोग लगाएं.
मां शैलपुत्री के पूजा मंत्र (Maa Shailputri Puja Mantra)
ऊँ देवी शैलपुत्र्यै नमः ।।
या देवी सर्वभूतेषु शैलपुत्री रूपेण संस्थिता। नमस्तस्यै, नमस्तस्यै, नमस्तस्यै नमो नम:।।
वन्दे वाञ्छितलाभाय चन्द्रार्धकृतशेखराम्। वृषारुढां शूलधरां शैलपुत्रीं यशस्विनीम्।।