Jharkhand News, Saraikela News, सरायकेला (शचिंद्र कुमार दाश) : कोल्हान में 20 हजार से अधिक तसर कृषक हैं. यहां तसर कोसा का उत्पादन बढ़ाने के साथ- साथ वैल्यू एडिशन पर भी जोर है. यहां तसर कोसा उत्पादन से लेकर सुत कताई व बुनाई से कपड़ों की डिजाइनिंग का कार्य भी किया जायेगा. हस्तकरघा, रेशम, हस्तशिल्प निदेशालय (उद्योग विभाग) के निदेशक उदय प्रताप ने कहा कि इस कार्य में अधिक से अधिक लोगों को जोड़ कर उन्हें रोजगार देने की योजना पर कार्य किया जा रहा है.
केंद्र सरकार की ट्राईफेड, सेंट्रल सिल्क बोर्ड एवं राज्य सरकार की उद्योग विभाग इस पर मिल कर कार्य करेगी. पहले चरण के लिए 16 करोड़ का प्रोजेक्ट तैयार हो चुका है. फसल उगाने से लेकर मटेरियल तैयार कर बाजार की भी व्यवस्था होगी. वन- धन योजना के तहत भी कार्य किये जायेंगे. इसमें क्षेत्र के अादिवासी- मूलवासियों को जोड़ कर रोजगार उपलब्ध कराया जायेगा. झारक्राफ्ट के बंद पड़े CFC को भी खोलने की तैयारी चल रही है. इस दौरान खरसावां पीपीओ सुनील कुमार शर्मा, खादी बोर्ड के विभूती राय, मनोज शर्मा आदि भी उपस्थित थे.
हस्तकरघा, रेशम, हस्तशिल्प निदेशालय (उद्योग विभाग) के निदेशक उदय प्रताप तथा उद्योग विभाग के उप सचिव सह खादी बोर्ड के CEO राखाल चंद्र बेसरा ने सरायकेला- खरसावां जिला के खरसावां के आमदा खादी पार्क में पार्क में सूत कताई व बुनाई कार्य का भी जायजा लिया. खादी इंपोरियम में हो रही खादी के कपड़ों की बिक्री के संबंध में भी जानकारी ली. उन्होंने बताया कि खादी के कपड़ों की मांग बढ़ी है. अब उत्पादन बढ़ाने पर भी जोर रहेगा. कोविड-19 के कारण पिछले 6 माह में उत्पादन में कुछ कमी आयी थी. अब इसे बढ़ाने पर खादी बोर्ड का जोर रहेगा. आमदा के साथ- साथ मरांगहातु, कुचाई, चांडिल में उत्पादन बढ़ाने पर जोर दिया जायेगा. उन्होंने खादी पार्क के साफ- सफाई करने समेत कई आवश्यक दिशा- निर्देश दिये. मौके पर खादी पार्क स्थित राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की प्रतिमा पर माल्यार्पण करने के साथ- साथ पार्क परिसर में पौधरोपण भी किया.
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करीब 4 साल पहले सरायकेला- खरसावां जिला के राजनगर प्रखंड में बने खादी पार्क को नये साल में शुरू करने की प्रशासनिक स्तर पर तैयारी शुरू हो गयी है. इस पार्क का उदय प्रताप और राखाल चंद्र बेसरा ने राजनगर खादी पार्क का निरीक्षण किया. मौके पर उदय प्रताप ने बताया कि खादी पार्क तक पहुंच पथ नहीं होने से वहां जाने में दिक्कत हो रही है. पहुंच पथ बनाने के लिए डिस्टिक मिनिरल फंड (DMFT) की राशि सड़क बनाने के लिए सरकार को पत्र लिखा गया है. उन्होंने पूरे पार्क परिसर में भ्रमण कर जायजा लिया तथा आवश्यक दिशा- निर्देश दिये.
मालूम हो कि वर्ष 2013 में खादी एवं ग्रामोद्योग बोर्ड की ओर से भव्य कार्यक्रम आयोजित कर यहां पार्क का शिलान्यास किया गया था. लाखों रुपये खर्च कर यहां चहारदीवारी एवं छोटे आकार का एक भवन भी बनाया गया है. इसके बावजूद इसे चालू नहीं किया जा सका. अब तक खादी पार्क के चारों ओर झाडियां ही उग आयी है. खादी पार्क के प्रशासनिक भवन एवं मेन गेट पर ताला लटका हुआ है. बताया जाता है कि खादी पार्क तक जाने के लिए सड़क नहीं है. कच्ची सड़क के रास्ते पार्क तक जाना पड़ता है. अब यहां सड़क बनाने की तैयारी हो रही है.
राजनगर के खादी पार्क के बनने से करीब 150 महिलाओं को प्रत्यक्ष एवं अप्रत्यक्ष रूप से रोजगार मिलेगा. तसर कोसा से रीलिंग-स्पीनिंग का कार्य करने वाली महिलाओं को प्रतिदिन दो से तीन सौ रुपये तक का रोजगार मिलेगा. यहां तक की महिलाएं अपने घर में भी कार्य कर सकेंगी. पार्क में तसर सुत कताई- बुनाई के साथ- साथ आस- पास के गांवों को ग्रामोद्योग से भी जोड़ने की योजना है.
Posted By : Samir Ranjan.