””कभी खुशी कभी गम”” : टीम डायरेक्टर से मुख्य कोच तक ऐसा रहा रवि शास्त्री का सफर
नयी दिल्ली : टीम इंडिया को रवि शास्त्री के रूप में नया मुख्य कोच मिल गया है. अनिल कुंबले के अचानक कोच पद से इस्तीफा देने के बाद टीम इंडिया कोच की तलाश में थी. बिना कोच के ही वेस्टइंडीज दौरा पर विराट कोहली और उनकी सेना को जाना पड़ा. लेकिन सोमवार को पांच लोगों […]
By Prabhat Khabar Digital Desk |
July 12, 2017 12:09 PM
नयी दिल्ली : टीम इंडिया को रवि शास्त्री के रूप में नया मुख्य कोच मिल गया है. अनिल कुंबले के अचानक कोच पद से इस्तीफा देने के बाद टीम इंडिया कोच की तलाश में थी. बिना कोच के ही वेस्टइंडीज दौरा पर विराट कोहली और उनकी सेना को जाना पड़ा. लेकिन सोमवार को पांच लोगों के साक्षात्कार के बाद कल विराट कोहली से बातचीत के बाद कोच पद के लिए रवि शास्त्री के नाम का ऐलान कर दिया गया.
रवि शास्त्री इससे पहले भी टीम इंडिया के साथ जुड़े हुए थे. लेकिन एक साल उन्हें टीम से बाहर रहना पड़ा. दरअसल 2015 में रवि शास्त्री को टीम का डायरेक्टर चुना गया था. उसी साल विश्वकप भी होना था. उस समय डंकन फ्लेचर टीम इंडिया के मुख्य कोच थे. लेकिन ऑस्ट्रेलिया के हाथों मिली 95 रनों की करारी हार के बाद बीसीसीआइ ने फ्लेचर के साथ चलने का अपना फैसला छोड़ दिया. बीसीसीआई ने नये कोच की तलाश शुरू कर दी. कोच चुनने का जिम्मा सचिन,सौरव और लक्ष्मण की तीकड़ी को सौंपा गया. बीच में खबर आयी कि विराट कोहली की अनुशंसा पर रवि शास्त्री को ही कोच चुना जाएगा. लेकिन ऐसा नहीं हुआ और शास्त्री के टीम डायरेक्टर की भूमिका को 2016 के लिए बढ़ा दिया गया.
लेकिन उसी समय 2016 में हुए टी-20 मुकाबले में वेस्टइंडीज टीम के हाथों भारत को 7 विकेट से हार का सामना करना पड़ा. इस हार ने बीसीसीआइ को झकझोर कर रख दिया. बीसीसीआइ ने तय किया कि अब टीम को एक फुल टाइम कोच की जरूरत है. बस उसी समय के बाद कोच की तलाश और बढ़ा दी गयी. बीसीसीआइ ने कोच पद के लिए आवेदन आमंत्रित किये. रवि शास्त्री ने भी आवेदन किया. यह तय माना जा रहा था कि शास्त्री को ही कोच चुन लिया जाएगा क्योंकि उनके डायरेक्टर रहते हुए टीम इंडिया ने शानदार प्रदर्शन दिखाया था और पहली बार टीम इंडिया टेस्ट रैंकिंग में नंबर एक बना था.
लेकिन इसी बीच अनिल कुंबले ने कोच पद के लिए आवेदन कर दिया. अब रवि शास्त्री की दावेदारी को पहली चुनौती मिल गयी. हालांकि शास्त्री की तुलना में कुंबले को कोचिंग का उतना अनुभव नहीं था, लेकिन ‘जंबो’ की गेंदबाजी रिकॉर्ड शास्त्री पर भारी पड़ रहा था. कोहली के सपोर्ट के बाद भी शास्त्री को नकार कुंबले को मुख्य कोच चुन लिया गया. इस फैसला से शास्त्री को बड़ा झटका लगा.
* गांगुली के साथ शास्त्री का अनबन
रवि शास्त्री को कोच नहीं चुना गया, इस बात से वो काफी नाराज हुए और सारा गुस्सा सौरव गांगुली पर उतार दिया. उन्होंने गांगुली पर पद की गरिमा नहीं रखने का आरोप लगा दिया. दरअसल कोच पद के लिए जो साक्षात्कार शास्त्री ने दिया था उसमें गांगुली मौजूद नहीं थे. इसी बात को लेकर शास्त्री ने अपना गुस्सा गांगुली पर दिखा दिया. हालांकि विवाद बढ़ने के बाद गांगुली ने साफ किया था कि उन्होंने बीसीसीआइ को पहले ही कह दिया था कि 5 से 6:30 तक वो साक्षात्कारमें नहीं रहेंगे क्योंकि उन्हें कैब की महत्वपूर्ण बैठक में शामिल होना था. इस मामले पर रवि शास्त्री की जमकर आलोचना हुई.
* कोच के रूप में कुंबले रहे सफल, लेकिन कोहली के साथ विवाद गहराया
कोच के रूप में अनिल कुंबले सफल रहे, लेकिन कप्तान के साथ अनबन की खबर काफी चर्चा में रही. खबर आयी कि विराट कोहली ने बीसीसीआइ से अनिल कुंबले की शिकायत की थी कि कोच अनिल कुंबले का व्यवहार एक हेडमास्टर की तरह है. उनकी कोचिंग में सभी खिलाड़ी घबराये रहते हैं. धीरे-धीरे मामला और बढ़ता गया. अचानक अनिल कुंबले ने 20 जून को अपना इस्तीफा बीसीसीआइ को भेज दिया. कुंबले ने एक ट्वीट कर साफ कर दिया कि कोहली और उनके बीच सब कुछ सामान्य नहीं है.
कुंबले ने यह भी लिखा, ‘इसके साथ ही मुझे बताया गया कि कप्तान को मेरी कार्यशैली को लेकर परेशानी है. यह जानकर मैं हैरान रह गया क्योंकि कप्तान और कोच की सीमाएं मुझे अच्छी तरह से पता हैं. हालांकि बीसीसीआई ने मेरे और कप्तान के बीच सुलह कराने की कोशिश की. लेकिन यह स्पष्ट था कि यह साझेदारी आगे नहीं चलने वाली थी. ऐसे में मैंने खुद आगे बढ़ जाने को बेहतर समझा.’
* कुंबले के इस्तीफा देने के बाद शास्त्री ने किया आवेदन
कुंबले के इस्तीफा देने के बाद बीसीसीआइ ने फिर कोच पद के लिए आवेदन मांगा. शास्त्री ने भी आवेदन किया. लेकिन वीरेंद्र सहवाग के आवेदन करने के बाद एक बार फिर कोच पद का चुनाव रोमांचक हो गया. एक बार ऐसा लगा कि इस बार भी शास्त्री कोच इन वेटिंग ही रह जाएंगे. साक्षात्कार के बाद वीरु की दावेदारी बढ़ गयी.
* बीसीसीआइ ने बढ़ा दिया था सस्पेंस
10 जुलाई को सौरव गांगुली, सचिन तेंदुलकर और लक्ष्मण ने कोच पद के लिए साक्षात्कार लिया. ऐसी खबर आयी कि उसी दिन नाम का भी ऐलान कर दिया जाएगा. लेकिन गांगुली ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बताया कि कोहली से बातचीत के बाद कोच के नाम का ऐलान किया जाएगा. कल 11 जुलाई को बीसीसीआइ ने कोहली से बातचीत के बाद रवि शास्त्री के नाम का घोषणा कर दिया. फिर बीसीसीआइ ने इसको वापस ले लिया. फिर बाद में बीसीसीआइ ने फिर रवि शास्त्री को कोच बनाये जाने की घोषणा की.