हार्दिक पांड्या को कोचिंग देने वाले राहुल द्रविड ने दिया बड़ा बयान
नयी दिल्ली : पूर्व भारतीय कप्तान राहुल द्रविड को लगता है कि युवा ऑल राउंडर हार्दिक पांड्या ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मौजूदा सीरीज में परिस्थितियों की मांग के अनुसार खेलकर अपने करियर का रुख बदल दिया है. द्रविड पिछले साल भारत ए के ऑस्ट्रेलिया दौरे पर पांड्या के कोच थे, उन्होंने उम्मीद जतायी कि भारत […]
By Prabhat Khabar Digital Desk |
September 26, 2017 3:25 PM
नयी दिल्ली : पूर्व भारतीय कप्तान राहुल द्रविड को लगता है कि युवा ऑल राउंडर हार्दिक पांड्या ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मौजूदा सीरीज में परिस्थितियों की मांग के अनुसार खेलकर अपने करियर का रुख बदल दिया है. द्रविड पिछले साल भारत ए के ऑस्ट्रेलिया दौरे पर पांड्या के कोच थे, उन्होंने उम्मीद जतायी कि भारत ए के मौजूदा खिलाड़ी भी पांड्या के बल्लेबाजी के प्रति रवैये का अनुकरण कर सकते हैं.
उन्होंने विजयवाडा में न्यूजीलैंड ए के खिलाफ भारत ए के अनौपचारिक टेस्ट के दौरान कहा, हार्दिक किसी भी परिस्थिति में खेलने को तैयार रहता है और वह ऐसा नैसर्गिक खेल नहीं खेलता है, जिसके बारे में हम अकसर बात करते हैं. श्रेय पूरी तरह से उसे दिया जाना चाहिए. द्रविड ने ईएसपीएनक्रिकइंफो डाट काम से कहा, वह ऐसा खिलाड़ी है जिसने अपने करियर का रुख बदल दिया है.
पांड्या छक्के जड़ने की अपनी काबिलियत से सभी के आकर्षण का केंद्र बन गये हैं और उन्होंने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मौजूदा पांच वनडे मैचों की सीरीज में अच्छा प्रदर्शन किया. उन्होंने अभी तक तीन मैचों में मैच जीताने वाले दो अर्धशतक जड़े हैं. पहले वनडे में उन्होंने महेंद्र सिंह धौनी के साथ मिलकर 83 रन की मैच विजयी पारी खेली जबकि तीसरे वनडे में जब उन्हें चौथे नंबर पर बल्लेबाजी के लिये भेजा गया तो उन्होंने 78 रन की पारी खेली.
द्रविड ने कहा, अगर वह चौथे नंबर पर बल्लेबाजी करता है तो वह एक विशेष तरह से बल्लेबाजी करता है. अगर वह छठे नंबर पर खेलता है तो वह दूसरे तरीके से खेलता है. कल अगर वह चार विकेट पर 80 रन के स्कोर पर बल्लेबाजी के लिये उतरता है तो वह शायद ऐसा ही करेगा जैसा उसने पहले वनडे में धौनी के साथ किया था. इससे परिपक्वता दिखती है और आप यही देखना चाहते हो.
द्रविड पिछले दो वर्षों से भारत की अंडर-19 और ए टीमों को कोचिंग दे रहे हैं. उन्होंने कहा, मैं अकसर नैसर्गिक खेल की बात सुनता हूं, लेकिन इससे मुझे निराशा होती है क्योंकि मेरा मानना है कि नैसर्गिक खेल जैसी कोई चीज नहीं होती. यह सिर्फ परिस्थितियों के अनुसार खेलना होता है. उन्हें लगता है कि पंड्या बहुत बढिया उदाहरण है कि विभिन्न हालात में कैसे अलग अलग तरह से बल्लेबाजी करनी चाहिए. उन्होंने कहा, आपको अलग परिस्थितियों में अलग तरह से बल्लेबाजी करना सीखना चाहिए और अगर आप ऐसा कर सकते हो जैसा हार्दिक इस समय प्रदर्शन कर रहा है तो यह क्रिकेटर के विकास का संकेत है.