साउथंपटन : मोहम्मद शमी ने कहा कि अफगानिस्तान के खिलाफ भारत के रोमांचक विश्व कप मुकाबले के दौरान महेंद्र सिंह धौनी ने सलाह दी थी कि वह हैट्रिक गेंद में यॉर्कर डाले और उन्होंने भी ऐसा करने के बारे में ही सोचा था. वह चेतन शर्मा के बाद विश्व कप में हैट्रिक लेने वाले दूसरे भारतीय गेंदबाज बन गये हैं. 1987 विश्व कप में चेतन शर्मा ने न्यूजीलैंड के खिलाफ पहली बार हैट्रिक हासिल की थी. 50 ओवरों के विश्व कप के इतिहास में यह 10वीं हैट्रिक है.
शमी ने 40 ओवर में चार विकेट झटकने के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा, ‘रणनीति सरल थी और वो यॉर्कर डालने की थी. यहां तक कि माही भाई ने भी इसी का सुझाव दिया. उन्होंने कहा था, ‘अब कुछ भी मत बदलो, क्योंकि तुम्हारे पास हैट्रिक हासिल करने शानदार मौका है.’ उन्होंने कहा, ‘हैट्रिक एक शानदार उपलब्धि है और तुम्हें इसके लिए कोशिश करनी चाहिए. इसलिए मैंने वही किया, जो मुझे बताया गया था.’
भुवनेश्वर कुमार की हैमस्ट्रिंग जकड़न के कारण शमी को इस मैच में खेलने का मौका मिला और बंगाल के इस तेज गेंदबाज ने स्वीकार किया कि वह भाग्यशाली रहे कि उन्हें अंतिम एकादश में शामिल किया गया. उन्होंने कहा, ‘अंतिम एकादश में शामिल होने का मौका मिलना थोड़ा मुश्किल होता है. मैं जानता था, जब भी मुझे मौका मिलेगा, तो इसका पूरा फायदा उठाऊंगा. जहां तक हैटट्रिक की बात है, तो विश्व कप में कम से कम यह दुर्लभ ही है. मैं इससे खुश हूं.’
शमी ने कहा कि अंतिम ओवर में सोचने का समय नहीं था और लक्ष्य यही था कि रणनीति के हिसाब से खेला जाये. उन्होंने कहा, ‘सोचने का समय नहीं था. आपको अपनी काबिलियत के हिसाब से खेलने के अलावा कोई विकल्प नहीं होता. अगर आप वैरिएशन आजमाते भी हैं, तो रन बनने की संभावना ज्यादा हो जाती है. मैं बल्लेबाज का दिमाग पढ़ने की कोशिश करने की बजाय अपनी रणनीति का कार्यान्वयन करना चाहता था.’