दिनेश कार्तिक ने बताया किस वजह से निदहास ट्रॉफी के फाइनल जीत हुई थी संभव
दिनेश कार्तिक ने निदहास ट्रॉफी में उनके द्वारा खेली गयी पारी को यादगार लम्हा बताते हुए कहा कि मैं इस तरह के मैचों का पहले से इंतजार कर रहा था.
निदहास ट्रॉफी के हीरो दिनेश कार्तिक ने निदहास ट्रॉफी में उनके द्वारा खेली गयी पारी को यादगार लम्हा बताते हुए कहा कि मैं इस तरह के मैचों का पहले से इंतजार कर रहा था. मैं उस तरह की परिस्थिति में खेलने का बहुत पहले से अभ्यास कर रहा था. जैसे ही वह पल आया जिसके लिए मैंने काफी अभ्यास किया था तो यह मेरे लिए एक मजेदार पल की तरह था.
और इस तरह की स्थिति में आप ऑटो मोड की स्थिति में होते हैं. आपको पता रहता है कि मुझे अभी क्या करने की जरूरत है. मुझे आने पर विश्वास था कि हम यह मैच जरूर जीतेंगे. कार्तिक ने आगे कहा कि उस वक्त टीम को जीत के लिए 12 गेंदों 34 रनों की दरकार थी. मैंने सोचा मैं इस लक्ष्य को हासिल कर हमारी टीम को जीत दिला सकता हूं. और अंत में वही हुआ जैसे मैंने सोचा था. ये बातें कार्तिक ने स्टार स्पोर्ट्स 1 के तमिल शो माइंड मास्टर्स ऑन एमएफओआरई पर कही.
कार्तिक ने मानसिक शक्ति के बारे में भी बात करते हुए कहा कि आज के समय में मानसिक दृढ़ता बेहद मायने रखती है खास कर के पेशेवर खिलाड़ियों के लिए तो यह और भी ज्यादा जरूरी है. आज की तारीख में लोगों को मुश्किल स्थिति से निकलने के लिए अपनी मानसिक स्थिति को बेहतर बना के रखना बहुत जरूरी है.
इसके लिए जरूरी है कि हम वर्तमान के बारे में सोचें और उस कठिन समय से लड़ें. जो भी आज की तारीख में सफलतम खिलाड़ी हैं वो इसी तरह से आगे बढ़कर इन चीजों में विजय हासिल किए हैं.
बता दें कि कार्तिक ने साल 2018 में निदहास ट्रॉफी के फाइनल में छक्का लगा कर एतिहासिक जीत दिलाई थी.
उस मैच में भारत जीत के लिए दिए गए 167 रनों के जवाब में 133-5 विकेट गंवा कर संघर्ष कर रहा था. जब कार्तिक आए तब टीम को 12 गेंदों पर 34 रनों की जरूरत थी लेकिन उन्होंने 8 गेंदों 29 बना कर टीम को जीत दिला दी. जिसमें 3 छक्के और 1 चौका शामिल था. उस पारी के लिए उन्हें मैन ऑफ द मैच भी चुना गया था.