रोहित शर्मा ने केपटाउन पिच को लेकर आईसीसी मैच रेफरी पर साधा निशाना, कह दी बड़ी बात
भारत और दक्षिण अफ्रीका के बीच खेला गया दूसरा टेस्ट मैच दो दिन में ही खत्म हो गया. भारत ने यह मुकाबला 7 विकेट से जीत लिया. तेज गेंदबाजों का शानदार प्रदर्शन रहा. पहली पारी में मोहम्मद सिराज ने 6 विकेट चटकाए, जबकि दूसरी पारी में जसप्रीत बुमराह के नाम 6 विकेट रहा.
भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान रोहित शर्मा दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ केपटाउन के न्यूलैंड्स में दूसरे टेस्ट के बाद आक्रामक मूड में थे. दूसरा टेस्ट पांच सत्र से भी कम समय में समाप्त होने से यह इस प्रारूप में अब तक का सबसे छोटा मैच (गेंदों की संख्या) बन गया. रोहित ने पिच की आलोचना तो की ही उन्होंने आईसीसी के मेच रेफरी पर भी भड़ास निकाला. मैच के पहले दिन 23 विकेट गिरे और दूसरे ही दिन चार के बाद मैच खत्म भी हो गया. भारत और दक्षिण अफ्रीका दोनों टीमों के बल्लेबाजों को मुश्किलों का सामना करना पड़ा. हालांकि रोहित शर्मा ने सीधे तौर पर न्यूलैंड्स की पिच की आलोचना नहीं की.
रोहित शर्मा ने कही यह बात
रोहित शर्मा ने कहा कि जब आप टेस्ट क्रिकेट खेलने के लिए यहां आते हैं, तो आप टेस्ट क्रिकेट के महत्व के बारे में बात करते हैं और फिर आपको इस पर कायम रहना चाहिए. जब आपके सामने ऐसी चुनौती आती है, तो आपको आना चाहिए और उसका सामना करना चाहिए. उन्होंने कहा कि हम सभी ने देखा कि इस टेस्ट में क्या हुआ और पिच कैसा खेल रही थी. ईमानदारी से कहूं तो जब तक हर कोई भारत आने पर अपना मुंह बंद रखेगा तब तक मुझे इस तरह की पिचों पर खेलने में कोई आपत्ति नहीं है.
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क्रिस ब्रॉड थे मैच रेफरी
इंग्लैंड के पूर्व सलामी बल्लेबाज क्रिस ब्रॉड दो टेस्ट मैचों की श्रृंखला के लिए आईसीसी मैच रेफरी थे और रोहित का मानना है कि वैश्विक संस्था के पैनल में शामिल रेफरी को तटस्थ होना चाहिए. कप्तान ने काफी आक्रामक अंदाज में कहा कि यह महत्वपूर्ण है कि हम जहां भी जाएं, तटस्थ रहें. खासकर मैच रेफरी को ऐसा करना ही चाहिए. इनमें से कुछ मैच रेफरी हैं, उन्हें इस बात पर नजर रखने की जरूरत है कि वे पिचों को कैसे रेटिंग देते हैं.
वर्ल्ड कप फाइनल के लिए अहमदाबाद की पिच को औसत रेटिंग
अहमदाबाद में वनडे वर्ल्ड कप फाइनल के लिए इस्तेमाल की गई पिच के लिए आईसीसी मैच रेफरी एंडी पाइक्रॉफ्ट की “औसत” रेटिंग भी रोहित शर्मा को पसंद नहीं आई. उन्होंने कहा कि मैं अब भी विश्वास नहीं कर पा रहा हूं कि विश्व कप फाइनल की पिच को ‘औसत से नीचे’ (वास्तव में औसत) रेटिंग दी गई थी. वहां एक बल्लेबाज ने शतक बनाया था. वह खराब पिच कैसे हो सकती है?. रोहित ने कहा कि आईसीसी और मैच रेफरी को इस पर गौर करने की जरूरत है.
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रेटिंग का मापदंड जानना चाहते हैं रोहित
रोहित ने कहा कि मैं जानना चाहता हूं कि पिचों की रेटिंग के लिए मैच रेफरी कौन-कौन से मापदंड अपनाते हैं. उन्होंने व्यंगात्मक लहजे में कहा कि मैं देखना चाहूंगा कि पिच को किस तरह रेटिंग दी गई है. मैं इसे अभी देखना चाहता हूं. मैं चार्ट देखना चाहता हूं कि वे पिचों को कैसे रेटिंग देते हैं. अगर गेंद पहली गेंद से ही सीम करती है, तो ठीक है. लेकिन अगर गेंद टर्न करने लगती है तो उन्हें यह पसंद नहीं है. अगर आप चाहते हैं कि गेंद केवल सीम हो और टर्न न करे तो यह गलत है.
मैच रेफरी को तटस्थ रहना चाहिए
रोहित ने कहा कि मैंने अब काफी क्रिकेट देख लिया है. मैं चाहता हूं कि मैच रेफरी जो देखते हैं उसके आधार पर पिचों की रेटिंग करना शुरू करें. कोई पूर्वाग्रह से ग्रसित होकर नहीं. मुझे उम्मीद है कि वे अपनी आंखें और कान खुले रखेंगे. वे उन पहलुओं पर गौर करेंगे. रोहित ने आगे कहा कि हमें इस तरह की पिचों पर खेलने पर गर्व है. मैं बस इतना कहना चाहता हूं कि वे तटस्थ रहें.