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एशियन गेम्स : बैडमिंटन में चीन की चुनौती तोड़ना भारत के लिए मुश्किल

पिछले एशियन गेम्स में भारत ने बैडमिंटन स्पर्धा में सिर्फ कांस्य पदक जीता था. इस बार विश्व बैडमिंटन चैंपियनशिप के कारण खिलाड़ियों को तैयारी का मौका नहीं मिला है, तो सफर मुश्किल भरा लग रहा है. एशियन गेम्स की बैडमिंटन स्पर्धा की बात करें, तो चीन का दबदबा रहा है. सबसे अधिक पदक जीते हैं. […]

पिछले एशियन गेम्स में भारत ने बैडमिंटन स्पर्धा में सिर्फ कांस्य पदक जीता था. इस बार विश्व बैडमिंटन चैंपियनशिप के कारण खिलाड़ियों को तैयारी का मौका नहीं मिला है, तो सफर मुश्किल भरा लग रहा है. एशियन गेम्स की बैडमिंटन स्पर्धा की बात करें, तो चीन का दबदबा रहा है. सबसे अधिक पदक जीते हैं.

इस बार भी चीन से भारतीय शटलरों को चुनौती मिलेगी. हालांकि पीवी सिंधु का मानना है कि भारतीय खिलाड़ियों को एशियाई खेलों की तैयारी के लिए पर्याप्त समय नहीं मिला, लेकिन 2014 टूर्नामेंट की तुलना में बेहतर प्रदर्शन करने में उनकी टीम सफल रहेगी. पिछली बार टीम स्पर्धा में भारतीय महिला टीम ने कांस्य पदक जीते थे. सारे एकल खिलाड़ी फ्लॉप रहे.हालांकि जकार्ता में इस बार परिस्थितियां बदल सकती है.

साइना, सिंधु और श्रीकांत पदक के दावेदार

हाल ही में संपन्न विश्व बैडमिंटन चैंपियनशिप में भारत के चार खिलाड़ी क्वार्टर फाइनल में पहुंचे, जो एक रिकॉर्ड है. हालांकि सिर्फ सिंधु ही फाइनल में जगह बनाने में सफल रही. हालांकि इसके बाद भी साइना, श्रीकांत, प्रणय से एकल स्पर्धा में भारत को पदक की उम्मीद होगी. सिंधु भी इस बार इतिहास रच सकती है. सिंधु इस वर्ष शानदार फॉर्म में हैं और कई टूर्नामेटों के फाइनल में जगह बना चुकी है. पुल्लेला गोपीचंद के कैंप में आने के बाद साइना नेहवाल भी कमबैक की है और भारत के लिए पदक दिला सकती हैं.

101 पदक सबसे अधिक जीते हैं चीन ने एशियन गेम्स की बैडमिंटन स्पर्धा में

91 पदकों के साथ इंडोनेशिया की टीम दूसरे स्थान पर है एशियन गेम्स में

08 पदक सिर्फ जीते हैं भारत ने. इनमें एक भी गोल्ड मेडल नहीं

महिला एकल स्पर्धा में नहीं मिला है कोई पदक
भारत ने एशियाई खेलों की महिला एकल स्पर्धा में अब तक कभी कोई पदक नहीं जीता है. आठ बार के पूर्व राष्ट्रीय चैंपियन सैयद मोदी एशियाई खेलों में भारत के एकमात्र व्यक्तिगत पदक विजेता हैं, जिन्होंने 1982 में नयी दिल्ली खेलों में कांस्य पदक हासिल किया था.

एशियन गेम 2018: 09 दिन शेष
गोपीचंद की बेटी गायत्री पर होंगी विशेष नजरें
भारत के सबसे सफल बैडमिंटन कोच पुल्लेला गोपीचंद की बेटी गायत्री गोपीचंद पहली बार एशियन गेम्स में हिस्सा लेने जा रही है. गायत्री पिता के नाम को वहां पर आगे बढ़ाने की कोशिश करेंगी. हालांकि उनके चयन को लेकर जिस तरह से सवाल उठाये गये थे, इसको देखते हुए उनके लिए भी बेहतर प्रदर्शन कर पाना चुनौती होगी.

भारतीय बैडमिंटन टीम

पुरुष टीम : किदांबी श्रीकांत, एचएस प्रणय, साई प्रणीत, समीर वर्मा, सात्विक साईराज रेड्डी, चिराग शेट्टी, सुमिथ रेड्डी, मनु अत्री, प्रणव जैरी चोपड़ा, सौरभ वर्मा.

महिला टीम : साइना नेहवाल, पीवी सिंधु, सिक्की रेड्डी, अश्विनी पोनप्पा, साइ राव, अस्मिता चलिहा, ऋतुपूर्णा पांडा, आरती सारा सुनील, आकर्षि कश्यप, गायत्री गोपीचंद.

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