चेन्नई : बर्नार्ड मैंडी के बाइसिकिल किक पर किये गये खूबसूरत गोल से चेन्नईयिन एफसी ने आज यहां केरल ब्लास्टर्स एफसी को 2-1 से हराकर इंडियन सुपर लीग (आइएसएल) फुटबॉल टूर्नामेंट में अपना विजय अभियान जारी रखा.
चेन्नईयिन की तरफ से कप्तान इलेनो ने 14वें मिनट में पेनल्टी पर गोल करके टीम को बढ़त दिलायी. केरल के इयान ह्यूम ने 50वें मिनट में बराबरी का गोल दागा लेकिन इसके कुछ देर बाद ही मैंडी (63वें मिनट) ने चेन्नई को 2-1 से आगे कर दिया. मैंडी को उनके शानदार गोल के लिये मैच का सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी भी चुना गया.
अभिषेक बच्चन के सह स्वामित्व वाली चेन्नईयिन की यह लगातार दूसरी जीत है जिससे उसके छह अंक हो गये हैं. इस जीत से वह एटलेटिको डि कोलकाता के बाद तालिका में दूसरे स्थान पर पहुंच गयी है.
दूसरी तरफ सचिन तेंदुलकर के सह स्वामित्व वाली केरल को दूसरी हार का सामना करना पड़ा. वह अपने पहले मैच में नार्थईस्ट यूनाईटेड एफसी से हार गयी थी. केरल ब्लास्टर्स ने अभी अपना खाता नहीं खोला है और वह अब भी तालिका में निचली पायदान पर चल रही है.
क्रिकेट स्टार तेंदुलकर, बालीवुड के बादशाह अमिताभ बच्चन, रजनीकांत और अभिषेक बच्चन की मौजूदगी में दोनों टीमों ने मैच की जीवंत शुरुआत की. खेल के 12वें मिनट में गुरविंदर सिंह ने अभिषेक दास को बाक्स के अंदर गिरा दिया जिसके लिये चेन्नई को पेनल्टी मिली. इलेनो नीची रहती किक से गोलकीपर डेविड जेम्स को छकाने में सफल रहे. इलेनो का यह सत्र का दूसरा गोल है. इससे पहले उन्होंने गोवा एफसी के खिलाफ फ्री किक पर गोल दागा था.
केरल ब्लास्टर्स को 26वें मिनट में गोल करने का अच्छा अवसर मिला लेकिन सी एस सबीथ का शाट बार से टकरा गया. केरल की टीम ने पहले हाफ के आखिरी क्षणों में काफी हमलावर तेवर दिखाये लेकिन चेन्नई की टीम मध्यांतर तक 1-0 से आगे रही.
केरल ने दूसरे हॉफ के शुरु से बराबरी का गोल करने की कोशिश की जिसका उसे जल्द ही फायदा मिला. ह्यूम ने कार्नर पर गोल दागकर मैच को 1-1 से बराबरी पर ला दिया. विक्टर पुल्गा का कार्नर अपना जन्मदिन मना रहे निर्मल छेत्री ने लिया और बाद में ह्यूम ने उसे गोल के अंदर किया.
इसके बाद दोनों टीमों ने अच्छे प्रयास किये लेकिन मैंडी ने अपनी खूबसूरत बाइसिकिल किक से गोल करके चेन्नई को दर्शकों को रोमांचित कर दिया. अमिताभ बच्चन भी उनके इस बेहतरीन प्रयास पर अपनी सीट से उठकर जश्न मनाने लगे थे. इसके बाद केरल ने गोल करने और चेन्नई ने गोल बचाने में जान लगा दी. केरल ने अपने चार स्ट्राइकरों को मैदान में उतार दिया लेकिन इसका उसे कुछ फायदा नहीं मिला.