एएनएमएमसीएच के इमरजेंसी वार्ड में हर दिन मरीजों की संख्या बढ़ती जा रही है. बेड की इतनी कमी है कि मरीजों को स्लाइन लगाने के बाद खुद ही बेड को तलाशना पड़ता है. यहां पर बेड, स्ट्रेचर, टेबल, कुर्सी सभी पर मरीजों को रखकर इलाज किया जाता है. इसमें अगर कोई अति गंभीर मरीज आ जाता है, तो उसे रखने के लिए कर्मचारी बगली झांकने लगते हैं.
इमरजेंसी वार्ड में सामान्य 80 बेड हैं, इसमें से 20 बेड में आइसीयू बनाया गया है. बुधवार के इमरजेंसी वार्ड में देखा जाये, तो 144 मरीज इलाज के लिए भर्ती किये गये. वहीं गुरुवार की दोपहर तक 108 मरीज यहां इलाज के लिए रजिस्ट्रेशन करा चुके थे. इसके बाद शाम व रात बाकी ही रह गयी. अब इतने मरीजों को 80 बेडों पर एडजस्ट करना किसी के वश की बात नहीं है. इसके अलावा ऑर्थो वार्ड में बेड से अधिक मरीज रहने के चलते व बेड नहीं मिलने पर यहां पर मरीज व परिजन के कोपभाजन का शिकार यहां के कर्मचारियों को होना पड़ता है.
हर दिन यहां के इंचार्ज नर्स व डॉक्टरों के साथ अन्य कर्मचारियों को मरीज के परिजन से झंझट होता है. अस्पताल प्रशासन को इस बारे में हर दिन शिकायत पहुंचती है. इतना ही नहीं मरीज के इलाज के लिए जिले के अधिकारी या जनप्रतिनिधि का भी पैरवी यहां आता है. इनकी भी बात यहां के कर्मचारियों व डॉक्टरों के साथ अस्पताल प्रशासन को माननी होती है.
अस्पताल सूत्रों का कहना है कि जब तक इमरजेंसी में बेड की संख्या नहीं बढ़ेगी स्थिति सुधारने वाली नहीं है. अब देखा जाये, तो यहां ओपीडी के विभिन्न विभागों में बुधवार को 1353, व गुरुवार को 1423 मरीज इलाज कराने पहुंचे हैं. इसमें से भी कई मरीज को सर्जरी व ऑर्थो से भर्ती किया जाता है.
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