Loading election data...

बिहार सरकार की दवा घोटाले में बड़ी कार्रवाई, एमडी समेत दस निलंबित

पटना : स्वास्थ्य विभाग में हुए दवा घोटाले की जांच रिपोर्ट आने के बाद राज्य सरकार ने दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की है. सरकार ने बिहार मेडिकल सर्विसेज एंड इन्फ्रास्ट्रक्चर कॉरपोरेशन लिमिटेड (बीएमएसआइसीएल) के प्रबंध निदेशक प्रवीण किशोर समेत परचेज कम तकनीकी कमेटी में सभी 10 सदस्यों को निलंबित कर दिया है. परचेज कमेटी के […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | October 12, 2014 4:56 AM

पटना : स्वास्थ्य विभाग में हुए दवा घोटाले की जांच रिपोर्ट आने के बाद राज्य सरकार ने दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की है. सरकार ने बिहार मेडिकल सर्विसेज एंड इन्फ्रास्ट्रक्चर कॉरपोरेशन लिमिटेड (बीएमएसआइसीएल) के प्रबंध निदेशक प्रवीण किशोर समेत परचेज कम तकनीकी कमेटी में सभी 10 सदस्यों को निलंबित कर दिया है. परचेज कमेटी के सदस्य एवं स्टेट ड्रग कंट्रोलर हेमंत कुमार और निदेशक (स्वास्थ्य सेवाएं ) डॉ सुरेंद्र कुमार को भी निलंबित किया गया है. सरकार ने विभाग के तत्कालीन संयुक्त सचिव संजय कुमार के निलंबन की अनुशंसा केंद्र सरकार को भेजी है.

बिहार राज्य के आवास बोर्ड के प्रबंध निदेशक डीके शुक्ला को बीएमएसआइसीएल का प्रबंध निदेशक बनाया गया है. सुभाष प्रसाद को स्टेट ड्रग कंट्रोलर बनाया गया है. निदेशक स्वास्थ्य सेवाएं के पद पर दो नामों की चर्चा है. डॉ जगदीश सिंह और डॉ केके सिंह में किसी एक को यह जिम्मेवारी दी जा सकती है. आधिकारिक सूत्रों ने इसकी पुष्टि की है. सोमवार को कार्यालय खुलने पर इससे संबंधित सभी अधिसूचनाएं जारी कर दी जायेंगी. इसके अलावा सारी कंपनियों का टेंडर रद्द कर दिया गया है. फिरसे इ-टेंडर होगा.

सरकार ने भागलपुर में एक व्यक्ति की मौत की जांच के बाद पाया कि मरने से पहले उस व्यक्ति को जो दवा दी गयी थी वह नकली थी. इस मामले में भागलपुर स्थित जवाहर लाल नेहरू मेडिकल कॉलेज अस्पताल के अधीक्षक को नोटिस दिया गया है. जबकि पूर्णिया के भंडारखाने के इंचार्ज को निलंबित कर विभागीय कार्रवाई चलाने का निर्णय लिया गया है.

विभाग के सचिव आनंद किशोर ने अपनी जांच रिपोर्ट शुक्रवार को विभाग को सौंप दी थी. लगभग 650 पेज की इस रिपोर्ट में कई बड़ी गड़बड़ियां व दवा खरीद में अनियमितता का जिक्र है. जांच रिपोर्ट में मेडिपॉल कंपनी को दवा का टेंडर दिलाने में पक्षपात का जिक्र किया गया है.

यह है आरोप

स्वास्थ्य विभाग में हुए दवा घोटाले में तीन ब्लैक लिस्टेड कंपनियों में से दो कंपनी मेडी पॉल (11.24 करोड़) व लेवोरट (8.36 करोड़) की दवा खरीदी गयी थी. बाद में इनको पेमेंट भी किया गया, लेकिन जांच रिपोर्ट के मुताबिक मेडिपॉल फार्मा इंडिया के द्वारा समर्पित बीट पेपर में हेरा-फेरी की गयी है और इस बात को लेकर भी चर्चा है कि कमेटी के किसी एक सदस्य के परिजन का ही कंपनी का सीएनएफ है. रिपोर्ट के मुताबिक मेडी पॉल फॉर्मा की तकनीकी निविदा खुलने के बाद बीट पेपर के प्रथम पृष्ठ पर मात्र तीन सदस्यों के हस्ताक्षर ही अंकित था एवं टेक्नीकल एवयुलेशन कमेटी के अन्य सदस्यों का हस्ताक्षर अंकित नहीं है जबकि कई अन्य कंपनियों के द्वारा समर्पित बीट पेपर के प्रथम पृष्ठ के अवालोकन में यह पाया गया कि उन पर टेक्नीकल एवयुलेशन कमेटी के सभी सदस्यों का हस्ताक्षर अंकित हैं.

इसी कारण से मो. शाहनवाज अली ने अपने आरोप पत्र में मेडिपॉल फार्मा इंडिया के बीट पेपर में हेरा फेरी का आरोप लगाया है. आरोप पत्र में यह भी कहा है कि टेक्नीकल एवयुलेशन कमेटी के 19 जुलाई 2013 की कार्रवाई ने समिति के सदस्यों का हस्ताक्षर बैठक के पूर्व की तिथि 27 जुलाई अंकित है. इसे भी अनियमितता करार दिया जा सकता है.

जांच में दूध का दूध पानी का पानी कर दिया गया है. सभी दोषियों पर कार्रवाई की गयी है. न्यायालय को सभी निर्णय से अवगत कराया जायेगा.
दीपक कुमार, प्रधान सचिव स्वास्थ्य विभाग

नीतीश कुमार जिस समय स्वास्थ्य मंत्री के प्रभार में थे, उस समय दवा घोटाला नहीं हुआ था. यह तय है कि जो कुछ हुआ, उनके कार्यकाल के पहले का है

जीतन राम मांझी, मुख्यमंत्री

इन पर हुई कार्रवाई

1. संजय कुमार (तत्कालीन संयुक्त सचिव ,स्वास्थ्य विभाग)

2. सुरेंद्र प्रसाद (डायरेक्टर इन चीफ, स्वास्थ्य विभाग)

3. बीएमएसआइसीएल के एमडी प्रवीण किशोर

4. उद्योग विभाग के निदेशक की जगह पर आये डिप्टी डायरेक्टर ओम प्रकाश पाठक

5. हेमंत कुमार (स्टेट ड्रग कंट्रोलर)

6. पीएमसीएच अधीक्षक की जगह पर आये उपाधीक्षक डॉ बिमल कारक

7. स्टेट हेल्थ सोसाइटी के एडिशनल डायरेक्टर डॉ डीके रमण

8.बीएमएसआइसीएल फाइनाइंस एंड एकाउंट त्रिपुरारि कुमार

9. यूएनएफपीए के हैदर

इनके अतिरिक्त परचेज कमेटी में समय-समय पर शामिल होनेवाले एक अन्य अधिकारी जिन्हें विशेष आमंत्रित सदस्य के रूप में रखा गया था, को निलंबित किया गया है.

Next Article

Exit mobile version