बिहार में अब 40,000 प्रधान शिक्षक व 6,000 प्रधानाध्यापकों की होगी नियुक्ति, BPSC के लिए अधियाचना तैयार

शिक्षा विभाग ने छह हजार से अधिक प्लस टू स्कूलों (माध्यमिक और उच्च माध्यमिक स्कूल ) में प्रधानाध्यापक के रिक्त पदों पर भर्ती के लिए प्रस्ताव तैयार किया है. इसी तरह राज्य के 40 हजार प्रारंभिक स्कूलों में उतनी ही संख्या में प्रधान शिक्षकों की नियुक्ति करने की तैयारी कर ली है.

By Prabhat Khabar News Desk | February 10, 2024 7:10 AM

पटना. राज्य के सरकारी स्कूलों में विद्यालय अध्यापकों की नियुक्तियों के बीच अब शिक्षा विभाग प्रधानाध्यापक/प्रधान शिक्षकों की नियुक्ति करने जा रहा है. शिक्षा विभाग ने छह हजार से अधिक प्लस टू स्कूलों (माध्यमिक और उच्च माध्यमिक स्कूल ) में प्रधानाध्यापक के रिक्त पदों पर भर्ती के लिए प्रस्ताव तैयार किया है. इसी तरह राज्य के 40 हजार प्रारंभिक स्कूलों में उतनी ही संख्या में प्रधान शिक्षकों की नियुक्ति करने की तैयारी कर ली है. जिला पदाधिकारियों को इन पदों के रोस्टर क्लीयरेंस के लिए प्रस्ताव भेज दिये गये हैं.

केवल 421 प्रधानाध्यापकों का ही चयन हो सका था

आधिकारिक सूत्रों के मुताबिक संभवत: सोमवार को इन दोनों पदों की वैकेंसी पर भर्ती के लिए अधियाचना बिहार लोक सेवा आयोग को भेज दी जायेगी. शिक्षा विभाग ने आधिकारिक तौर पर इस आशय की जानकारी की पुष्टि की है. उम्मीद है कि लोकसभा चुनाव की घोषणा के पूर्व विज्ञापन जारी कर दिया जायेगा. इसके पहले 2022 में बिहार लोक सेवा आयोग के माध्यम से 6421 प्रधानाध्यापकों की नियुक्ति का विज्ञापन जारी हुआ था. लेकिन केवल 421 प्रधानाध्यापकों का ही चयन हो सका था. इसमें से 380 ने ही ज्वाइन किया था. इस तरह रिक्त पड़े करीब छह हजार पदों पर प्रधानाध्यापकों की नियुक्ति की जानी है.

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40 हजार प्राइमरी स्कूलों में प्रधान शिक्षक के पद रिक्त

जानकारी के मुताबिक राज्य के 40 हजार प्रारंभिक या प्राइमरी स्कूलों में प्रधान शिक्षक के पद रिक्त हैं. बिहार में प्रधान शिक्षकों की भर्ती के लिए बिहार लोक सेवा आयोग की तरफ से प्राइमरी टीचर के विभिन्न 40506 रिक्त पदों पर भर्ती के लिए विज्ञापन जारी किया गया था. हालांकि तकनीकी पेच से परीक्षा नहीं हो सकी थी. इस तरह करीब दो सालों से इन भर्तियों का इंतजार किया जा रहा है.

मिल सकता है सक्षमता परीक्षा देने के दो अतिरिक्त चांस

इधर, विभागीय सूत्रों का कहना है कि शिक्षा विभाग नियोजित शिक्षकों को सक्षमता परीक्षा उत्तीर्ण करने का अवसर तीन की बजाय पांच बार देने पर विचार कर रहा है. इस आशय का प्रस्ताव बनाया गया है. इसी संदर्भ में सीतामढ़ी में निरीक्षण के लिए पहुंचे शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक ने कहा कि नियोजित शिक्षक प्रतिभाशाली हैं. काफी संख्या में बीपीएससी परीक्षा पास कर विद्यालय अध्यापक बने हैं. उन्हें बस इस नरेटिव (धारणा) को तोड़ने के लिए परीक्षा पास करनी है कि नियोजित शिक्षक कम प्रतिभाशाली हैं. बस उन्हें परीक्षा के माध्यम से डेमोस्ट्रेशन देना है.

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