सरपंच नहीं दे रहे हिसाब

संवाददाता, छपरा (सदर) जिले की सभी 323 पंचायतों के सरपंच मानदेय, किराया आदि मद में खर्च किये गये करोड़ों रुपये का हिसाब नहीं दे रहे हैं. वहीं, कई पंचायतों के सरपंच द्वारा ग्राम कचहरी के सचिव के मानदेय मद की लाखों की राशि का भुगतान नहीं किया जा रहा है, जिससे ग्राम कचहरी के संचालन […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 24, 2013 10:56 PM

संवाददाता, छपरा (सदर)

जिले की सभी 323 पंचायतों के सरपंच मानदेय, किराया आदि मद में खर्च किये गये करोड़ों रुपये का हिसाब नहीं दे रहे हैं. वहीं, कई पंचायतों के सरपंच द्वारा ग्राम कचहरी के सचिव के मानदेय मद की लाखों की राशि का भुगतान नहीं किया जा रहा है, जिससे ग्राम कचहरी के संचालन के लिए मिलनेवाले आवंटन की राशि को सरकार द्वारा रोके जाने की आशंका है.

नहीं हो रहा मानदेय का भुगतान

पंचायती राज विभाग द्वारा वित्तीय वर्ष 2011-12 में ग्राम कचहरी सचिव के मानदेय मद में 76 लाख, आठ हजार रुपये तथा न्याय मित्र के मानदेय मद में पूर्व से बकाया राशि 46 लाख, 40 हजार रुपये का भुगतान कर उपयोगिता प्रमाणपत्र सौंपना था. यही नहीं, वित्तीय वर्ष 2012-13 में न्याय मित्र के मानदेय मद में पूर्व के बकाया 59 लाख, 14 हजार, 295 रुपये तथा ग्राम कचहरी सचिव के मानदेय भुगतान मद में 47 लाख, 31 हजार, सात सौ रुपये पंचायतों को उपावंटित किये गये थे. इसके अतिरिक्त ग्राम कचहरी सचिव के मानदेय मद में 12-13 की राशि 77 लाख, 52 हजार रुपये का भी उपावंटन किया गया था. ग्राम कचहरी के कार्यालय के किराया मद में पांच लाख, 32 हजार 26 रुपये का उपावंटन किया गया. परंतु, अबतक किसी भी सरपंच द्वारा खर्च का हिसाब नहीं दिया गया. यही नहीं, कई सरपंचों द्वारा ग्राम कचहरी के खाते में राशि पड़ी हुई है, बावजूद ग्राम कचहरी के सचिव का मानदेय भुगतान नहीं किया जा रहा है.

आवंटन रोक देगी सरकार!

पंचायती राज विभाग के निदेशक दीपक आनंद ने जिला पदाधिकारी व जिला पंचायती राज पदाधिकारी को पत्र भेज कर 15 दिनों के भीतर पंचायत सचिवों के मानदेय मद में उपावंटित राशि का भुगतान कराने का निर्देश दिया. वहीं इस मामले में असहयोग करनेवाले सरपंचों के खिलाफ पंचायती राज अधिनियम के दौरान कार्रवाई की अनुशंसा के लिए लिखा है. यही नहीं, पत्र में यह भी कहा गया है कि 15 दिनों के अंदर यदि ग्राम कचहरी सचिवों का भुगतान नहीं होता है, तो ग्राम कचहरी का आवंटन रोक दिया जायेगा.

Next Article

Exit mobile version