सोनपुर मेले में पर्यटन विभाग द्वारा बनाया गया स्विस कॉटेज
संवाददाता, सोनपुर विश्व प्रसिद्ध हरिहर क्षेत्र सोनपुर मेले में देश-विदेश के लाखों लोग गंगा स्नान एवं मेला घूमने आते हैं. मेले की ख्याति के अनुसार मेले को सजाने-संवारने का काम जिला प्रशासन एवं पर्यटन विभाग ने किया है. लोगों को स्वस्थ सांस्कृतिक कार्यक्रम देखने-सुनने को मिले इसके लिए कई कार्यक्रम जनसंपर्क विभाग एवं जिला प्रशासन […]
संवाददाता, सोनपुर
विश्व प्रसिद्ध हरिहर क्षेत्र सोनपुर मेले में देश-विदेश के लाखों लोग गंगा स्नान एवं मेला घूमने आते हैं. मेले की ख्याति के अनुसार मेले को सजाने-संवारने का काम जिला प्रशासन एवं पर्यटन विभाग ने किया है. लोगों को स्वस्थ सांस्कृतिक कार्यक्रम देखने-सुनने को मिले इसके लिए कई कार्यक्रम जनसंपर्क विभाग एवं जिला प्रशासन द्वारा आयोजित किये जा रहे हैं. विदेशी सैलानी को ठहरने के लिए अंगरेजी बाजार स्थित पर्यटक ग्राम में 20 अस्थायी कॉटेज बनवाये गये हैं. कॉटेज देखने से ग्रामीण संस्कृति की झलक मिलती है, लेकिन सारे सुख-सुविधा फाइव स्टार होटल की तरह है. बांस और झलसी से बने कॉटेज में कहीं कोई कमी न रह जाये, इसका भी पूरा ख्याल रखा गया है. इस कॉटेज में गरम पानी के लिए 10 गीजर लगाये गये हैं. साथ ही सुरक्षा के लिए भी कड़ी व्यवस्था की गयी है. इवेंट मैनेजर द्वारा कॉटेज बनवाया गया है. इस वर्ष आज तक कुल 10 विदेशी सैलानी मेला घूमने के लिए पर्यटक ग्राम में ठहरे हुए हैं. इनमें पांच इटली के तथा चार यूएसए के हैं.
प्रदर्शन ग्राम स्थित कॉटेज का एक दिन का किराया 16 नवंबर से 22 नवंबर तक सात हजार रुपये हैं, जबकि लग्जरी टैक्स एवं सर्विस टैक्स आदि अलग से देने पड़ेंगे. दूसरी सप्ताह 23 नवंबर से 29 नवंबर तक 2500 रुपये प्रतिदिन का किराया है तथा 30 नवंबर से मेला समाप्ति तक 499 रुपया प्रतिदिन किराया है. लग्जरी टैक्स, सर्विस टैक्स आदि अलग से देने होंगे. इस वर्ष पर्यटक ग्राम स्थित कॉटेज में मधुबनी पेंटिंग की कलाकृति न ही रहने के कारण विदेशी सैलानी उसको देखने से वंचित रह जायेंगे. साथ ही इस वर्ष पर्यटक ग्राम से आर्ट गैलरी भी नहीं लगायी गयी है. पर्यटक ग्राम में प्रतिनियुक्त कर्मी ने बताया कि काफी परेशानी का सामना हमलोगों को इस वर्ष करना पड़ रहा है.