Loading election data...

बिहार में अब डीबीटी के जरिये जुड़ेंगी सरकार की सभी योजनाएं, लाभुकों के खाते में सीधे ट्रांसफर होगी राशि

राज्य सरकार अपनी सभी योजनाओं को जल्द ही डीबीटी (डायरेक्ट टू बेनीफिट) के माध्यम से जोड़ने जा रही है. वर्तमान में राज्य में करीब 75 से 80 योजनाएं चल रही हैं, जिनमें करीब आधी योजनाएं ही डीबीटी के माध्यम से जुड़ी हुई हैं.

By Prabhat Khabar News Desk | April 13, 2021 7:44 AM

पटना. राज्य सरकार अपनी सभी योजनाओं को जल्द ही डीबीटी (डायरेक्ट टू बेनीफिट) के माध्यम से जोड़ने जा रही है. वर्तमान में राज्य में करीब 75 से 80 योजनाएं चल रही हैं, जिनमें करीब आधी योजनाएं ही डीबीटी के माध्यम से जुड़ी हुई हैं. इनमें साइकिल, पोशाक, छात्रवृत्ति व कृषि अनुदान समेत अन्य योजनाएं शामिल हैं. परंतु अब भी आधी योजनाएं ऐसी हैं, जो डीबीटी से नहीं जुड़ी हुई हैं. इन्हें जोड़ने की कवायद तेज कर दी गयी है.

वित्त विभाग ने चालू वित्तीय वर्ष में राज्य की सभी बची हुई योजनाओं को डीबीटी से जोड़ने के लिए व्यापक स्तर पर पहल शुरू कर दी है. हालांकि, केंद्र सरकार के स्तर से संचालित होने वाली तकरीबन सभी योजनाएं डीबीटी से जुड़ी हुई हैं. परंतु राज्य सरकार की बड़ी संख्या में योजनाएं इससे महरूम हैं. इससे संबंधित प्रस्ताव तैयार करके जल्द ही इसे कैबिनेट से पास भी कराया जायेगा.

तैयारी

  1. डीबीटी के माध्यम से सभी योजनाएं जुड़ने से लाभुकों के बैंक खाते में सीधे ट्रांसफर हो सकेगी राशि

  2. वर्तमान में राज्य में करीब 75 से 80 योजनाएं चल रही हैं, जिनमें करीब आधी योजनाएं ही डीबीटी के माध्यम से जुड़ी हुई हैं.

  3. फिलहाल वित्त विभाग के स्तर पर राज्य सरकार की सभी योजनाओं का आकलन किया जा रहा है

तैयार की जा रही है सूची

फिलहाल वित्त विभाग के स्तर पर राज्य सरकार की सभी योजनाओं का आकलन किया जा रहा है और जो योजनाएं डीबीटी से नहीं जुड़ी हुई हैं, उनकी सटीक सूची तैयार की जा रही है, ताकि सभी जरूरी नियमों का पालन करते हुए उन्हें डीबीटी से जोड़ा जा सके. डीबीटी से योजनाओं को जोड़ने के बाद सभी लाभुकों या संबंधित व्यक्तियों के बैंक खाते में सीधे विभाग से ही पैसे ट्रांसफर हो जायेंगे. वर्तमान में बड़ी संख्या में फसल सहायता अनुदान जैसी कई योजनाओं की राशि जिला स्तर से ट्रांसफर की जाती है. इसमें देरी होती है.

डीबीटी सुविधा नहीं होने से होती है परेशानी

सीधे डीबीटी की सुविधा नहीं होने के कारण पहले संबंधित विभागों से राशि जिला कार्यालयों में जाती है. इसके बाद अनुमंडल या प्रखंड कार्यालयों में भेजी जाती है, जिसके बाद वह संबंधित लाभुकों के खाते में जाती है. इसमें काफी समय लग जाता है. परंतु सीधे डीबीटी से जुड़ने से मुख्यालय स्तर से ही राशि सीधे लाभुकों के बैंक खातों में ट्रांसफर हो जायेगी. इसमें किसी तरह की देरी नहीं होगी.

Posted by Ashish Jha

Next Article

Exit mobile version