केस से बचने को अपने ही घर में लगायी आग

केस से बचने को अपने ही घर में लगायी आग फोटो 9 केएसएन 6,7सड़क जाम करते ग्रामीण व जला घर.-ग्रामीणों ने एनएचई 327 ई किया जामप्रतिनिधि, पौआखालीताराबाड़ी पंचायत के ताराबाड़ी मदरसा गांव में भूमि विवाद को लेकर पिछले दिनों हुई मारपीट व नाबालिग लड़की के साथ अमानवीय तरीके से की गयी मारपीट व केस से […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 9, 2015 7:51 PM

केस से बचने को अपने ही घर में लगायी आग फोटो 9 केएसएन 6,7सड़क जाम करते ग्रामीण व जला घर.-ग्रामीणों ने एनएचई 327 ई किया जामप्रतिनिधि, पौआखालीताराबाड़ी पंचायत के ताराबाड़ी मदरसा गांव में भूमि विवाद को लेकर पिछले दिनों हुई मारपीट व नाबालिग लड़की के साथ अमानवीय तरीके से की गयी मारपीट व केस से बचने के लिए आरोपियों ने खुद अपने घर में बुधवार को आग लगा दी. इस मामले में लकड़ी व उसकी मां के साथ हुए अत्याचार व फिर उन्हें आगजनी की केस में फंसाने की साजिश का पर्दाफाश करते ग्रामीणों ने न्याय की मांग करते एनएच 327 ई जाम कर दिया. जाम करने वालों में पंचायत के मुखिया प्रतिनिधि सिकंदर आजम द्वारा पंचायत के पूर्व मुखिया नजमोद्दीन, मुखिया समशुल के नेतृत्व में सैकड़ों ग्रामीण ताराबाड़ी चौक स्थित एनएच 327ई को जाम कर धरना पड़ बैठ गये और पुलिस प्रशासन से आरोपियों की गिरफ्तारी की मांग करने लगे. तकरीबन दो घंटे धरना प्रदर्शन जारी रहने के बाद गंधर्वडांगा थाना पुलिस हरकत में आ गयी और मौके पर पहुंच गयी और पुलिस द्वारा दोषी लोगों के खिलाफ कार्रवाई किये जाने का आश्वासन देने पर धरना समाप्त हो गया. क्या है मामलाग्रामीण एनुद्दीन और कैसर के बीच पूर्व से ही एक जमीन को लेकर विवाद चलता आ रहा है. जिसमें पिछले शुक्रवार के दिन कैसर आलम जो अपने पिता का एक मात्र पुत्र है अपनी मां और बहन के साथ अपनी खेत में फसल काटने गया था तभी गांव के ही स्वर्गीय एनुद्दीन का परिवार जिसमें 30-40 सदस्य है में कुछ सदस्यों ने कैसर और उसकी मां और बहन पर हमला कर दिया. यहां तक कि कैसर की बहन कैसुमा को लाठी डंडा से जख्मी कर देने का मामला भी सामने आया है. जिसका इलाज किशनगंज सदर अस्पताल में अब भी चल रहा है. बताया जाता है कि पीडि़त पक्ष कैसर के दादाजी के नाम उक्त जमीन जिसका खतियान और केवाला मौजूद है उस पर दबंग एनुद्दीन का पूरा परिवार हक जमाना चाहता है. गांव वालों के मुताबिक कैसर को अकेला जान कर दबंगों के द्वारा जबसे उसके खेत में लगे लगी फसल को काटने की कोशिश की. जिससे गांव वालों ने पूर्व एवं वर्तमान मुखिया प्रतिनिधि के साथ दोनों पक्षों को बुला कर पंचायती भी की. जिसमें उक्त जमीन कैसर के मालिकाना हक को वाजिब करार दिया गया. किंतु स्वीर्गीय एनुद्दीन के परिवार को यह फैसला गवारा नहीं था और सूचना के मुताबिक महबूब आलम ने गांव वालों को फंसाने की नीयत से पहले खुद अपने घर में आग लगायी फिर वही आग आस पास के कई घरों को अपने जद में ले लिया जो एनुद्दीन के ही परिवार के सदस्यों का बताया जाता है. कानून व्यवस्था पर खड़े हुए सवालइस घटना ने कानून व्यवस्था पर सवाल खड़ा कर दिया है. कहा जाता है कि पीडि़त पक्ष की मासूम लड़की पर हुए बर्बर अत्याचार की घटना के संबंध में गंधर्वडांगा थाना में आवेदन दिया गया था. जिस पर कार्रवाई में पुलिस ने कोताही बरती है. मुखिया प्रतिनिधि सिकंदर आजम, पूर्व मुखिया इकरा के नजमोद्दीन के मुताबिक अगर पुलिस उस दिन ही घटना में संज्ञान लेकर आरोपी महबूब को गिरफ्तार कर लेती तो आज यह घटना नहीं घटती. इन लोगों ने एसपी से न्याय की मांग की है.क्या कहते हैं थानाध्यक्ष थानाध्यक्ष गंगेय राघव ने इस पूरे मामले को भूमि विवाद से जोड़ते हुए कहा कि आगजनी की घटना की जांच होगी और पीडि़त द्वारा पूर्व में दिये गये आवेदन के आलोक में आरोपी महबूब की गिरफ्तारी की गयी है.

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