सीएम डिजिटल हेल्थ योजना मरीजों के लिए सुविधाजनक

निरीक्षण के दौरान दिये कई निर्देश

By Prabhat Khabar News Desk | November 28, 2024 8:38 PM
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कार्यों का राज्य कार्यक्रम पदाधिकारी ने किया निरीक्षण

फोटो-22-योजना की समीक्षा करते अधिकारी.

प्रतिनिधि, अररिया

मुख्यमंत्री डिजिटल हेल्थ योजना स्वास्थ्य सेवाओं को डिजिटल प्लेटफार्म के माध्यम से अधिक सुविधाजनक व प्रभावी बनाने का महत्वपूर्ण जरिया साबित हो रहा है. योजना के तहत भव्या एप के माध्यम से मरीजों के स्वास्थ्य रिकॉर्ड्स को संधारित किया जा रहा है. योजना के सफल क्रियान्वयन से मरीजों के इलाज की संपूर्ण प्रक्रिया पेपरलेस हो चुका है. योजना को अधिक प्रभावी व कारगर बनाने के उद्देश्य से राज्यस्तरीय अधिकारी डॉ राजेंद्र प्रसाद सिन्हा ने सदर अस्पताल का निरीक्षण किया. इस क्रम में उन्होंने संबंधित मामलों की गहन समीक्षा की. सिविल सर्जन डॉ केके कश्यप, डीपीएम संतोष कुमार, सहित अस्पताल के प्रभारी चिकित्सक डॉ आकाश राज, प्रबंधक विकास कुमार व कार्यक्रम के जिला समन्वयक निशार रागीब सहित सहित संबंधित अन्य अधिकारियों के साथ योजना की समीक्षा करते हुए इसे और बेहतर बनाने के उद्देश्य से कई महत्वपूर्ण सुझाव दिये. राज्य कार्यक्रम पदाधिकारी डॉ राजेंद्र कुमार सिन्हा ने बताया कि भव्या एप के क्रियान्वयन मामले में अररिया राज्य में दूसरे स्थान पर है. डॉक्टरों के ऑनलाइन कंस्लटेंशन, वायटल टेकिंग, मरीजों के मोबाइल नंबर रजिस्ट्रेशन, दवाओं का वितरण सहित अन्य मामलों में जिले को शतप्रतिशत उपलब्धि प्राप्त है. इसकी गुणात्मकता में सुधार के लिए अभी और प्रयास किये जाने हैं. ताकि मरीजों को उत्कृष्ट स्वास्थ्य सेवाओं का लाभ सुविधाजनक तरीके से मुहैया कराया जा सके. सिविल सर्जन डॉ केके कश्यप ने बताया कि भव्या एप की मदद से मरीजों के इलाज में पारदर्शिता आयी है. सदर अस्पताल में संचालित डिस्ट्रिक्ट कमांड कंट्रोल यूनिट की मदद से जिले के सभी प्रमुख अस्पतालों में चिकित्सकीय गतिविधियों पर नजर रखना आसान हुआ है. इसकी नियमित अनुश्रवण किया जा रहा है.

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शहरी इलाकों में सुदृढ़ होंगी स्वास्थ्य सेवाएं

23-प्रतिनिधि, अररिया

शहरी इलाकों में प्राथमिक स्वास्थ्य सेवाओं की मजबूती महत्वपूर्ण है. तेजी से बढ़ती आबादी के कारण तुलनात्मक दृष्टिकोण से शहरों में अधिक गरीबी देखी जाती है. वहीं शहरी आबादी में डायबिटीज, बीपी, हृदय रोग, टीबी, कैंसर बीमारियों का अनुपात ग्रामीण इलाके की तुलना में अधिक है. शहरी इलाके में बसे लोगों के स्वास्थ्य व पोषण मामलों में सुधार के उद्देश्य से राष्ट्रीय शहरी स्वास्थ्य मिशन सरकार की एक महत्वाकांक्षी योजना है. योजना के सफल क्रियान्वयन को लेकर एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन गुरुवार को जिला स्वास्थ्य समिति सभागार में किया गया. इसमें फारबिसगंज नगर परिषद की मुख्य पार्षद वीणा देवी सहित अररिया व फारबिसगंज नगर परिषद क्षेत्र के कई वार्ड पार्षदों ने भाग लिया. सिविल सर्जन डॉ केके कश्यप की अध्यक्षता में आयोजित बैठक में डीसीएम सौरव कुमार, यूनिसेफ के एडीसी राकेश कुमार, पीएसआइ के जिला प्रबंधक सत्येंद्र नारायण सहित अन्य मौजूद थे.

शहरी इलाकों में स्वास्थ्य सेवाओं को सुदृढ़ बनाना उद्देश्य

जिला सामुदायिक समन्वयक सौरव कुमार ने बताया कि राष्ट्रीय शहरी स्वास्थ्य मिशन का उद्देश्य शहरी इलाकों में स्वास्थ्य सेवाओं को सुदृढ़ बनाते हुए पोषण, स्वच्छ पेयजल, स्वच्छता संबंधी मामलों को उत्कृष्ट बनाना है. इसमें शहरी इलाके के जनप्रतिनिधियों की सक्रिय भागीदारी जरूरी है. उनकी मदद से समुदाय आधारित मॉनेटरिंग, व सहयोग तंत्र को विकसित करते हुए स्वास्थ्य व पोषण संबंधी मामलों में सुधार संभव है. यूनिसेफ के कंसल्टेंट राकेश कुमार ने कहा जनप्रतिनिधियों की मदद से शहरी क्षेत्र में उपलब्ध स्वास्थ्य सेवाओं को सुदृढ़ बनाया जा सकता है. उनके सहयोग से शहरी स्वास्थ्य कार्यक्रम, स्वास्थ्य सुरक्षा, टीकाकरण, मातृ-शिशु स्वास्थ्य, परिवार नियोजन सहित अन्य महत्वपूर्ण स्वास्थ्य कार्यक्रमों को अधिक प्रभावी व उपयोगी बनाया जा सकता है.

गरीब व वंचितों को स्वास्थ्य सेवा उपलब्ध कराना प्राथमिकता

सिविल सर्जन डॉ केके कश्यप ने कहा कि जन प्रतिनिधियों से लोगों की बहुत सारी उम्मीदें जुड़ी होती है. स्वास्थ्य व पोषण संबंधी मामलों के प्रति लोगों को जागरूक करते हुए उपलब्ध सरकारी योजनाओं के प्रति उन्हें जागरूक करने में वे महत्वपूर्ण भूमिका अदा कर सकते हैं. उन्होंने कहा कि शहरी इलाकों में स्वास्थ्य सेवाओं की बेहतर पहुंच सुनिश्चित करते हुए विशेषकर गरीब व वंचित वर्गों को इसका लाभ उपलब्ध कराना विभाग की प्राथमिकता है.

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