आरा सदर प्रखंड प्रमुख की छिनी कुर्सी, पक्ष में एक तो विपक्ष में पड़े 16 वोट
आरा सदर प्रखंड प्रमुख जय कुमारी देवी की कुर्सी छीन गयी है. वहीं सदर प्रखंड उप प्रमुख भागीरथ यादव की भी कुर्सी छिन गयी है. महीनों पहले से अविश्वास प्रस्ताव विरोधी खेमे द्वारा लाया गया था.
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आरा सदर प्रखंड प्रमुख जय कुमारी देवी की कुर्सी छीन गयी है. वहीं सदर प्रखंड उप प्रमुख भागीरथ यादव की भी कुर्सी छिन गयी है. महीनों पहले से अविश्वास प्रस्ताव विरोधी खेमे द्वारा लाया गया था. पर विभिन्न कारणों से बैठक नहीं हो पाई एवं चुनाव नहीं कराया गया. अंततः 11 जनवरी को प्रखंड कार्यालय स्थित किसान भवन में चुनाव कराया गया. प्रखंड विकास पदाधिकारी के नेतृत्व में चुनाव संपन्न हुआ. चुनाव को लेकर व्यवस्था चुस्त दुरुस्त की गयी थी. ताकि किसी तरह की गड़बड़ी नहीं हो सके. इस अवसर पर स्थापना उपसमाहर्ता विकास कुमार पर्यवेक्षक के रूप में उपस्थित थे.11:30 बजे शुरू हुई कार्रवाई :
अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा को लेकर 11:30 बजे कार्रवाई शुरू हुई. प्रखंड विकास पदाधिकारी ने नियमानुसार अविश्वास प्रस्ताव को पढ़कर सुनाया. स्थित एक पक्षीय होने के कारण चर्चा में समय नहीं लगा. हालांकि कुछ सदस्यों में अपनी बात कही. पूरी कार्रवाई अपराह्न 2:30 बजे तक चली.अविश्वास प्रस्ताव के पक्ष में 16 एवं विपक्ष में एक मत पड़े. सदर प्रखंड प्रमुख एवं प्रखंड उप प्रमुख दोनों के समय यही स्थिति रही. 10 पंचायत समिति सदस्य अनुपस्थित रहे.प्रमुख व उप प्रमुख के खेमे में छायी रही उदासी :
प्रमुख व उप प्रमुख के खेमे में उदासी छायी रही. जबकि विरोधी खेमे में खुशी की लहर थी. इसकी रिपोर्ट जिलाधिकारी तनय सुल्तानिया चुनाव आयोग को भेजेंगे. इसके बाद चुनाव आयोग द्वारा नए प्रखंड प्रमुख व उप प्रमुख के चुनाव को लेकर तिथि घोषित की जायेगी. इसके बाद निर्धारित तिथि पर जिला प्रशासन द्वारा अनुमंडल पदाधिकारी के नेतृत्व में चुनाव कराया जायेगा.15 अक्तूबर 2024 को ही होनी थी चर्चा :
बता दे कि आरा सदर प्रखंड प्रमुख एवं उप प्रमुख के विरुद्ध विभिन्न आरोपों को लेकर 15 अक्तूबर को पंचायत समिति सदस्यों द्वारा अविश्वास प्रस्ताव पर विशेष चर्चा होनी थी. पर मामला हाइकोर्ट में चले जाने के कारण हाइकोर्ट ने विशेष चर्चा की तिथि 27 अक्तूबर निर्धारित कर दी. पर प्रखंड प्रमुख व उप प्रमुख के द्वारा प्रखंड विकास पदाधिकारी आरा सदर रवि रंजन को सुप्रीम कोर्ट के निर्णय का हवाला देकर कहा गया था कि अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा नहीं होनी चाहिए. इससे संबंधित सुप्रीम कोर्ट के आदेश की एक प्रति प्रखंड विकास पदाधिकारी, आरा सदर को इन लोगों के द्वारा सौंपा गया है.सुप्रीम कोर्ट के निर्देश में कही गयी है स्थगन की बात :
प्रखंड प्रमुख व उप प्रमुख द्वारा सुप्रीम कोर्ट के जिस आदेश को प्रखंड विकास पदाधिकारी आरा सदर को सौंपा गया है, उसमें जय कुमारी एवं अन्य के द्वारा पटना उच्च न्यायालय के आदेश के विरुद्ध सुप्रीम कोर्ट में मामला दायर किया गया. सुप्रीम कोर्ट के इस मामले पर सुनवाई की अनुमति देने के लिए सुनवाई की गयी तथा अगले आदेश तक पटना उच्च न्यायालय के आदेश पर रोक लगा दी गयी. इसी के आधार पर आरा सदर प्रखंड प्रमुख एवं उप प्रमुख द्वारा प्रखंड विकास प्राधिकारी आरा सदर को आवेदन देकर कहा गया था कि अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा नहीं करायी जाये. पर इन लोगों के द्वारा उक्त एसएलपी नंबर, जिसे सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में टैग किया है, वह इन लोगों का ही है, इसका प्रमाण नहीं दिया गया था. ऐसे में मामला काफी पेचीदा हो गया था.प्रखंड प्रमुख के विरुद्ध क्या था आरोप :
प्रखंड प्रमुख के विरुद्ध पंचायत समिति सदस्यों ने कई तरह के आरोप लगाये थे. इनमें कहा गया था कि प्रखंड प्रमुख जय कुमारी देवी के द्वारा पंचायत समिति की बैठक समय से नहीं बुलाई जाती है. प्रखंड स्तर पर सात समितियां की गठन के बावजूद 2 साल में एक बार भी बैठक नहीं करायी गयी. पंचायत समिति सदस्यों को विकास से वंचित कर देना,एक ही पंचायत में अर्थात आपके द्वारा अपने पंचायत में सबसे अधिक योजना का क्रियान्वयन कराना,इनके द्वारा प्रखंड में वित्तीय अनियमितता पर किसी तरह की अंकुश नहीं लगाना आदि शामिल है. पंचायत समिति सदस्यों ने कहा है कि इस परिस्थिति में प्रखंड प्रमुख पद पर कार्य करने के योग्य नहीं रह गई हैं.उप प्रमुख के विरुद्ध क्या मुख्य आरोप :
वर्तमान प्रखंड उप प्रमुख के विरुद्ध पंचायत समिति सदस्यों ने कई तरह के आरोप लगाये थे. इनमें उनका कहना था कि आरा सदर प्रखंड उप प्रमुख ने पंचायत समिति की बैठक प्रमुख के द्वारा नहीं बुलाने पर आपके द्वारा बैठक बुलाने की पहल नहीं की गयी. आपके द्वारा प्रखंड प्रमुख से मिलकर अपने पंचायत में केवल विकास कराना एवं प्रखंड में पैसा का बंदरबांट कराना, आपके द्वारा प्रमुख को वरगला कर 2024-25 की बीपीडीपी योजना चंद पंचायत में अपलोड कर दिया गया. शेष सदस्यों को योजना से वंचित कर दिया गया.सामाजिक न्याय समिति के अध्यक्ष होने के बावजूद दो वर्ष में एक भी बार बैठक नहीं करायी गयी.16 पंचायत समिति सदस्यों ने दिया है आवेदन :
आरा सदर प्रखंड प्रमुख एवं उप प्रमुख के विरुद्ध 16 पंचायत समिति सदस्यों ने आवेदन दिया है तथा कहा है कि हमारा विश्वास इन पर नहीं रह गया है. इसलिए हम अविश्वास का प्रस्ताव करते हैं.पंचायत समिति सदस्यों की कुल संख्या है 27 : आरा सदर प्रखंड में पंचायत समिति सदस्यों की कुल संख्या 27 है. इनमें वर्तमान में एक प्रमुख एवं एक उप प्रमुख हैं. शामिल सदस्यों में जय कुमारी, प्रखंड प्रमुख, भागीरथ यादव, उप प्रमुख, सोनी दुबे, पंचायत समिति सदस्य, राजेंद्र पासवान, अनीता देवी, रीता देवी, अंशु सिंह, जूली देवी, पूनम देवी, राम जी सिंह, वीरेंद्र कहार, सहखन खातून, हरे कृष्णा प्रसाद, सुरेंद्र सिंह, सुमन देवी, लाल बाबू प्रसाद, बलराम राय, आनंद यादव, सुशीला देवी, मिनता देवी, सूर्य प्रताप सिंह, सोनाझारी देवी, जनार्दन गोंड, राजेश सिंह, प्रियंका कुमारी, आनंद शर्मा व सत्येंद्र कुमार हैं.
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