अगली लोकसभा की पहली बैठक में भोजपुरी को संवैधानिक मान्यता देने की उठी मांग
भोजपुरिया जन घोषणा पत्र का हुआ विमोचन
आरा. वीर कुंवर सिंह विश्वविद्यालय के भोजपुरी छात्र संघ ने भोजपुरिया जन घोषणा पत्र का विमोचन किया. विमोचन के बाद छात्र संघ के सदस्यों ने कहा कि इस घोषणा पत्र में भोजपुरी को लेकर कुछ मांगें रखी गयी हैं और इसे शाहाबाद के सभी लोकसभा क्षेत्रों के प्रमुख राजनीतिक दलों और उनके प्रत्याशियों तक पहुंचाया जायेगा. जन घोषणा पत्र की प्रमुख मांगों में अगली लोकसभा की पहली बैठक में भोजपुरी को संविधान की आठवीं अनुसूची में शामिल करवाना, भोजपुरी को बिहार की द्वितीय राजभाषा का दर्जा दिलवाना, मेडिकल कॉलेज को विश्वविद्यालय द्वारा दी गयी जमीन के बदले कृषि विभाग की जमीन, विश्वविद्यालय में फार्मेसी, सांख्यिकी, मानव विज्ञान, विधि संकाय की पढ़ाई, भिखारी ठाकुर के नाम पर राष्ट्रीय स्तर का नाट्य विश्वविद्यालय, अश्लील तथा जातिसूचक गायकों का राजनीतिक एवं सामाजिक बहिष्कार, विश्वविद्यालय में भोजपुरी के उच्च स्तर का अध्ययन केंद्र और शिक्षकों की बहाली, स्कूलों में भोजपुरी की पढ़ाई आदि प्रमुख है. इसके अलावा घोषणा पत्र में युवा उद्यमियों के लिए भोजपुरिया हाट, हर जिले के लिए विशेष उद्योग, कृषि एवं पर्यटन नीति की भी मांग की गयी है. विमोचन के दौरान उपस्थित सह संयोजक सोहित सिन्हा, राजेश कुमार, रवि प्रकाश सूरज और हर्षित निर्मल ने कहा कि भोजपुरी में सिर्फ भाषण देने से काम नहीं चलेगा. अगर सभी राजनीतिक दल भोजपुरी के मान सम्मान को लेकर जनता की आवाज संसद तक नहीं पहुंचा सकते, तो भोजपुर की जनता उन्हें नकार सकती है.
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