विभाग की लापरवाही से खराब पड़े हैं अधिकतर हाथी चापाकल

करपी (अरवल) : प्रखंड क्षेत्र में गाड़े गये सरकारी चापाकल पानी उगलने में अक्षम साबित हो रहे हैं. पीएचइडी विभाग द्वारा हाथी चापाकल वैसे स्थानों को चिह्न्ति कर गाड़े जाते हैं, जहां से सिर्फ गांव के ही नहीं, उस रास्ते से आने-जानेवाले राहगीरों को भी पेयजल की व्यवस्था सुलभ हो सके, लेकिन विभिन्न जगहों पर […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 1, 2015 7:49 AM

करपी (अरवल) : प्रखंड क्षेत्र में गाड़े गये सरकारी चापाकल पानी उगलने में अक्षम साबित हो रहे हैं. पीएचइडी विभाग द्वारा हाथी चापाकल वैसे स्थानों को चिह्न्ति कर गाड़े जाते हैं, जहां से सिर्फ गांव के ही नहीं, उस रास्ते से आने-जानेवाले राहगीरों को भी पेयजल की व्यवस्था सुलभ हो सके, लेकिन विभिन्न जगहों पर विधायक की अनुशंसा पर गाड़े गये हाथी चापाकल आधे से अधिक बेकार पड़े हुए हैं. हाथी चापाकल के खराब हो जाने पर इसके कल-पुरजे बाजार में उपलब्ध नहीं हैं, इसलिए इसे ग्रामीण स्थानीय मिस्त्री से बनवाने में अक्षम हैं.

ग्रामीणों के अनुसार ठेकेदारों द्वारा प्राक्कलन के अनुरूप इन हाथी चापाकलों को नहीं गाड़े जाने के कारण बहुत जल्द ही खराब हो जाते हैं. साथ ही विभाग द्वारा समय-समय पर इसकी मरम्मत भी नहीं करायी जाती है, नतीजा धीरे-धीरे बेकार हो जाते हैं. ग्रामीणों की मानें, तो संवेदक हाथी चापाकल गाड़ने के दौरान आवश्यकता के अनुरूप गहराई तक नहीं जाते हैं, जिससे गरमी के दिन आते ही पानी उगलना बंद कर देते हैं. केयाल गांव निवासी उपेंद्र शर्मा ने बताया कि गांव के निकट बाराडीह के पास गाड़े गये हाथी चापाकल करीब 15 दिनों पूर्व खराब हो गया.

इसके लिए विभाग को मौखिक सूचना दी गयी, लेकिन किसी ने अब तक इसे चालू करने की कोशिश नहीं की, जिससे धीरे-धीरे यह बरबाद होने की स्थिति में आता जा रहा है तथा आमजनों को पेयजल के लिए परेशानी हो रही है.

Next Article

Exit mobile version