ग्रामीण कार्य विभाग का जिला कार्यालय जर्जर भवन में चल रहा है. कार्यालय में एक ओर पदाधिकारी-कर्मचारी जान जोखिम में डाल कर काम करते हैं, वहीं उचित रख रखाव के अभाव और बारिश के पानी के कारण विभाग के महत्वपूर्ण कागजात भी नष्ट हो रहे हैं. बारिश होने की स्थिति मे कार्यालय में पानी भर जाता है. कार्यालय के छत का प्लास्टर झड़ कर गिरना आम बात हो गयी है.कार्यालयों की मरम्मत या नये भवन का निर्माण शीघ्र नहीं किया गया, तो कार्यालय में कभी भी हादसा हो सकता है. जर्जर हो चुके कार्यालय में मरम्मत की कोई योजना तैयार नहीं हुई है और कर्मचारी रोजाना जान जोखिम में डाल कर काम करने को विवश हैं. भवन जर्जर होने के कारण कार्यालय में जब-तब प्लास्टर गिरता रहता है और कर्मचारियों की जान आफत में रहती है.
कार्यालय में जगह का काफी अभाव :
कार्यालय में जगह का काफी अभाव है और काफी तंग स्थिति में कर्मचारी फाइलों के बीच बैठते हैं. कम्प्यूटर रूम का झड़ रहा प्लास्टर विभाग के कार्यपालक पदाधिकारी के बगल में कम्प्यूटर कक्ष है, जिसमें कई तरह के डाक्यूमेंट रखा हुआ है, जहां पर अभियंता और कई कर्मचारी भी बैठते हैं. कम्प्यूटर ऑपरेटर ने बताया कि कई बार प्लास्टर सर पर गिरने से बचा है. वहीं विभाग के लिपिक कक्ष का प्लास्टर दो जगह पर टूट कर गिरते रहता है. काम कर रहे कर्मचारी ने बताया कि हमलोग डर कर कार्य करते हैं. बारिश होती है तो छत से पानी भी टपकते रहता है जिसके कारण फाइलों को सुरक्षित रखने में मुश्किल होता है.
कहते हैं पदाधिकारी :
नये भवन में कार्यालय शिफ्ट करने के लिए डीएम को पत्र लिखा गया है. जिला प्रशासन नया भवन कहीं पर देता है तो उसमें चले जायेंगे- शत्रुध्न प्रसाद, कार्यपालक अभियंता, ग्रामीण कार्य विभाग