जूझ रहा है खून की कमी से
प्रबंधन व प्रशासन की उदासीनता से दयनीय है ब्लड बैंक की स्थिति औरंगाबाद (कोर्ट) : कभी खून के भंडारण करने में पूरे राज्य में अव्वल रहा सदर अस्पताल का रक्त अधिकोष (ब्लड बैंक) स्वयं ब्लड की कमी से जूझ रहा है. ब्लड बैंक की स्थिति फिलहाल दयनीय है. ब्लड बैंक में किसी भी ग्रुप का […]
प्रबंधन व प्रशासन की उदासीनता से दयनीय है ब्लड बैंक की स्थिति
औरंगाबाद (कोर्ट) : कभी खून के भंडारण करने में पूरे राज्य में अव्वल रहा सदर अस्पताल का रक्त अधिकोष (ब्लड बैंक) स्वयं ब्लड की कमी से जूझ रहा है.
ब्लड बैंक की स्थिति फिलहाल दयनीय है. ब्लड बैंक में किसी भी ग्रुप का ‘निगेटिव’ ब्लड का एक यूनिट भी उपलब्ध नहीं है. साथ ही, पॉजिटिव ग्रुप के ब्लड भी कुछ ही यूनिट हैं. ब्लड बैंक कर्मियों से मिली जानकारी के अनुसार, वर्तमान में ‘ए’ पॉजिटिव का एक यूनिट, ‘बी’ पॉजिटिव के दो यूनिट, ‘ओ’ पॉजिटिव के नौ यूनिट व ‘एबी’ पॉजिटिव के दो यूनिट ब्लड ही उपलब्ध हैं.
डोनर से लिया जाता है ब्लड: ब्लड बैंक कर्मी सुरेंद्र प्रसाद बताते हैं कि जिस ग्रुप के ब्लड की आवश्यकता होती है, उस ग्रुप के डोनर को संपर्क कर बुलाया जाता है. यदि इमरजेंसी में ब्लड की जरूरत पड़ी, तो कर्मी पहले ब्लड के जुगाड़ करने में व्यस्त हो जायेंगे. यदि डोनर उस दौरान नहीं रहा, तो लोगों की जान क्या बच पायेगी? ऐसी लचर व्यवस्था आखिर क्यों? कर्मचारी सुरेंद्र प्रसाद ने बताया कि फिलहाल ‘ए’ पॉजिटिव ग्रुप के 10 डोनर, ‘ए’ निगेटिव ब्लड ग्रुप के दो डोनर, ‘बी’ पॉजिटिव व निगेटिव ग्रुप के 10-10 डोनर, ‘एबी’ पॉजिटिव ग्रुप के नौ डोनर,‘एबी’ निगेटिव के तीन व ‘ओ’ पॉजिटिव ब्लड ग्रुप के 11 तथा ‘ओ’ निगेटिव ब्लड ग्रुप के 10 डोनर उपलब्ध हैं.
उन्होंने बताया कि जिस ग्रुप के ब्लड की आवश्यकता होती है, उसी ग्रुप के डोनर से संपर्क कर उन्हें बुलाया जाता है. फिर खून की व्यवस्था की जाती है. सभी डोनरों का पूरा पता व फोन नंबर कार्यालय में उपलब्ध है.