नक्सलियों के चंगुल से निकले बाहर, कानून आपके साथ है : एसपी
नक्सलियों के चंगुल से निकले बाहर, कानून आपके साथ है : एसपी औरंगाबाद कार्यालय:एसपी बाबू राम ने नक्सली संगठन के चंगुल में फंसे लोगों से अपील की है कि आप नक्सलियों के चंगुल से बाहर निकले, समाज की मुख्यधारा से जुड़े, कानून आपके साथ है. एसपी ने कहा कि मेरा अभी तक का अनुभव है. […]
नक्सलियों के चंगुल से निकले बाहर, कानून आपके साथ है : एसपी औरंगाबाद कार्यालय:एसपी बाबू राम ने नक्सली संगठन के चंगुल में फंसे लोगों से अपील की है कि आप नक्सलियों के चंगुल से बाहर निकले, समाज की मुख्यधारा से जुड़े, कानून आपके साथ है. एसपी ने कहा कि मेरा अभी तक का अनुभव है. हम जो देख रहे हैं और जो स्थिति यहां की है उसे देखते हुए मुझे नक्सल संगठन से जुड़े लोगों से अपील करना मेरा दायित्व बनता है. उन्हें यह बताना मेरी नैतिक जिम्मेवारी है कि आप समाज की मुख्यधारा से जुड़ कर जितना खुशहाल जीवन जी सकते है. वह खुशहाली आपको कभी भी नक्सलियों के संगठन में रहने से नहीं मिल सकता. मैं जानता हूं कि बहुत लोग ऐसे हैं जो इनके चंगुल से बाहर निकलना चाहते हैं. लेकिन वे लोग इन्हें बाहर निकलना नहीं देना चाहते, क्योंकि इन्हीं लोगों के सहयोग से इनका लेवी की वसूली होती है. इनका ऊपर के नेता का स्वार्थ पूरा होता है. एसपी ने कहा है कि नक्सली नेता अपने संगठन के लोगों को अपने कब्जे में रखने के लिए उनमें तरह -तरह का भय पैदा करते हैं. कभी कहते हैं हमसे बाहर निकलोगे पुलिस मार देगी, टीपीसी मार देगा, जेल में चले जाओगे. लेकिन मेरा कहना है कि इस तरह का डर से आप कब तक डरते रहेंगे. आपको न तो पुलिस मारेगी न टीपीसी मारेगा और न जेल भेजा जायेगा, बल्कि कानूनन जितना भी मदद की आवश्यकता होगी, आपको दिया जायेगा. कानून का दरवाजा सबके लिए खुला है. एसपी ने नक्सली संगठन से जुड़े लोगों के परिवार से भी अपील की है कि आप डरे नहीं, चाहे आपका परिवार जेल में हो या जंगल में. आप मुझसे आकर मिले. आपको पूरा सहयोग करूंगा. एसपी ने यह भी कहा कि कई लोग नक्सलियों के चंगुल से निकल कर मेरे संपर्क में आ चुके हैं. इनकी सुरक्षा व कानूनी मदद दोनों हम देने जा रहे हैं और भी जो लोग नक्सलियों के चंगुल से निकलना चाहते हैं वे सीधे संपर्क स्थापित करें. अगर वे स्वयं नहीं आना चाहते तो अपने परिवार को भेज कर मुझसे संपर्क स्थापित करें. समाज की मुख्यधारा से जुड़ने के लिए जितना भी सहयोग, जितनी भी सुरक्षा व जितनी कानूनी मदद की आवश्यकता होगी, दी जायेगी. मेरा एक ही उद्देश्य है समाज के मुख्य रास्ते से भटके हुए लोगों को सही रास्त पर लाना और उनके जिंदगी को संवारना.