सदर अस्पताल में चिकत्सिकों की कमी

सदर अस्पताल में चिकित्सकों की कमी सिर्फ सुबह आठ बजे से दोपहर दो बजे तक ही ओपीडी में मरीजों का इलाज औरंगाबाद (नगर)एक तरफ भारत सरकार सदर अस्पताल को आदर्श अस्पताल के रूप में विकसित करने के लिए चयनीत किया है, लेकिन इस अस्पताल में पिछले कई वर्षों से चिकित्सकों की कमी के कारण नेत्र, […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 7, 2015 6:56 PM

सदर अस्पताल में चिकित्सकों की कमी सिर्फ सुबह आठ बजे से दोपहर दो बजे तक ही ओपीडी में मरीजों का इलाज औरंगाबाद (नगर)एक तरफ भारत सरकार सदर अस्पताल को आदर्श अस्पताल के रूप में विकसित करने के लिए चयनीत किया है, लेकिन इस अस्पताल में पिछले कई वर्षों से चिकित्सकों की कमी के कारण नेत्र, ओपीडी, शिशु ओपीडी, सर्जरी ओपीडी बंद पड़ा हुआ है, यहां तक कि दोपहर दो बजे से रात आठ बजे तक चलनेवाला जेनरल ओपीडी भी बंद हो गया है, सिर्फ सुबह आठ बजे से दोपहर दो बजे तक ओपीडी में मरीजों का इलाज किया जाता है. इस अस्पताल में कम से कम पांच-छह चिकित्सकों की पदस्थापन होने के बाद ही अस्पताल की चिकित्सीय व्यवस्था में कुछ हद के लिए सुधार होने की उम्मीद रहेगी. ऐसा भी नहीं है कि जिले में चिकित्सकों की कमी है. नवीनगर, मदनपुर, देव, कुटुंबा, जम्होर सहित अन्य पीएचसी केंद्रों में मरीजों के अनुसार चिकित्सकों की संख्या अधिक है. यहां तक कि इनकी प्रतिनियुक्ति सदर अस्पताल में होनी चाहिए थी, लेकिन उन्हें बेवजह के पीएचसी केंद्रों में रखा गया है. जबकि, पूरे जिले के लोग इलाज के लिए पीएचसी छोड़कर सदर अस्पताल आते हैं. यहीं नही कुछ अन्य चिकित्सक ड्यूटी करने के बजाये पैरवी के बदौलत क्षेत्र में या तो फिर कार्यालय में अपना पोस्टिंग करवा रखे हैं. इस संबंध में पूछे जाने पर सदर अस्पताल उपाधीक्षक डाॅ तपेश्वर प्रसाद ने बताया कि वरीय अधिकारियों के प्रयास से यदि छह चिकित्सकों को सदर अस्पताल में पदस्थातिप कर दिया जाये तो यहां की स्थिति मेें काफी सुधार आ सकती है. लेकिन, इस पर न तो अधिकारियों का ध्यान है और न ही सिविल सर्जन का. उपाधीक्षक ने कहा कि छह चिकित्सकों के आने पर यहां सर्जरी, शिशु व नियमित महिला ओपीडी भी चला सकते हैं, जिससे मरीजों को भला होगा.

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