औषधीय पौधों की खेती से होगी अच्छी आमनी
औषधीय पौधों की खेती से होगी अच्छी आमनी फोटो नंबर- – अपने खेत में एलोवेरा के पौधे दिखाते किसान जनार्दन सिंह.हसपुरा के बघोई टोले गांधीनगर के जर्नादन सिंह कर रहे आंवला व एलोवेरा की खेतीमार्केट में एलोवेरा की जगह आंवले की मांग अधिकसरकारी मदद नहीं मिलने से दुखी हैं जर्नादन हसपुरा, (औरंगाबाद)हसपुरा प्रखंड क्षेत्र के […]
औषधीय पौधों की खेती से होगी अच्छी आमनी फोटो नंबर- – अपने खेत में एलोवेरा के पौधे दिखाते किसान जनार्दन सिंह.हसपुरा के बघोई टोले गांधीनगर के जर्नादन सिंह कर रहे आंवला व एलोवेरा की खेतीमार्केट में एलोवेरा की जगह आंवले की मांग अधिकसरकारी मदद नहीं मिलने से दुखी हैं जर्नादन हसपुरा, (औरंगाबाद)हसपुरा प्रखंड क्षेत्र के बघोई टोले गांधीनगर के रहनेवाले किसान जर्नादन सिंह औषद्यीय पौधों की खेती कर अच्छी आमदनी कर रहे हैं. जर्नादन सिंह ने एलोवेरा व आंवला की खेती की है. उनके अनुसार, स्थानीय मार्केट से लेकर बाहर के मार्केट में आंवला की मांग काफी अच्छी है, लेकिन स्थानीय मार्केट में एलोवेरा की मांग कम है. जनार्दन सिंह ने बताया कि औषधीय पौधों में आंवला व एलोवेरा की खेती कर सोचा था कि दोनों से अच्छी कमाई होगी. आंवला व एलोवेरा में कई औषधीय गुण पाये जाते हैं. फेस क्रीम, साबुन, मुंहासे का दाग मिटाने में एलोवेरा का उपयोग किया जाता है. इसके ठंडल बाजार में 15 से 20 रुपये प्रतिकिलो बिकते हैं, लेकिन स्थानीय बाजार में इसकी मांग न के बराबर है. एलोवेरा की खेती में अब तक सरकारी लाभ भी नहीं मिल रहा है. उन्होंने कहा कि लगभग चार एकड़ जमीन पर आंवले के पौधे लगाया हूं. मांग अधिक होने के कारण उम्मीद है कि आंवले बेच कर अच्छी आमदनी हो जायेगी.जनार्दन सिंह ने कहा कि तीन अप्रैल, 2013 को तत्कालीन राजस्व व भूमि विभाग के प्रधान सचिव हुकुम सिंह मीणा, डीएम अभय कुमार व डीपीआरओ वीरेंद्र कुमार शुक्ल स्थानीय पदाधिकारियों के साथ एलोवेरा व आंवले के पौधों का निरीक्षण किया था. काफी सराहना भी हुई थी. इससे उम्मीद जगी थी कि औषधीय पौधों की खेती से अच्छी आमदनी होगा. बेकार पड़ी बंजर जमीन काम लायक हो जायेगी, लेकिन सारी मेहनत व पूंजी बेकार हो रही है.