दाउदनगर. प्रखंड के गोरडीहां पंचायत के नोनार गांव निवासी 70 वर्षीय द्वारिक प्रजापत, 65 वर्षीय केवलपति देवी, 27 वर्षीय राधेश्याम प्रजापति, बाबू अमौना निवासी 72 वर्षीय तपेश्वर तिवारी, जनसंख्या समाधान फाउंडेशन के जिलाध्यक्ष भीम पांडेय की मां 65 वर्षीया श्रीमती कुंअर सहित काफी संख्या में किसान अपने जिंदा होने का सबूत देने के लिए प्रखंड कार्यालय पहुंचे थे. दरअसल मामला यह है कि पैक्स चुनाव के मतदाता सूची का प्रारूप जो प्रकाशित हुआ है, उसमें विभिन्न पंचायतों के कुछ लोगों को मृत घोषित कर दिया गया है, जिसके कारण उनके द्वारा दावा-आपत्ति दाखिल किया गया था. दावा-आपत्ति के निबटारा के क्रम में उन्हें नोटिस देकर गुरुवार को प्रखंड कार्यालय सभागार में बुलाया गया था. ये लोग आधार कार्ड व नोटिस लेकर प्रखंड कार्यालय सभागार पहुंचे थे, जहां प्रखंड निर्वाचन पदाधिकारी सह बीडीओ मो जफर इमाम द्वारा दावा-आपत्ति का निबटारा किया जा रहा था. अपनी बारी आने पर इन लोगों ने बीडीओ के समक्ष सशरीर उपस्थित होकर कहा कि “सर, अभी जीवित हैं, अभी मृत नहीं हुए हैं. इसी तरह के कई मामले दावा-आपत्ति के निष्पादन के क्रम में पहुंचे थे. इन लोगों ने बातचीत के क्रम में बताया कि वे लोग सही सलामत अपने गांव से दाउदनगर पहुंचे हैं यह बताने के लिए कि अभी मरे नहीं है, बल्कि जिंदा हैं. अब पता नहीं किसकी कमी है, जिसके कारण मतदाता सूची के प्रारूप में उन्हें मृत दिखा दिया गया है. ग्रामीणों से पता चला कि इस पंचायत में ऐसे लोगों की संख्या 70 से भी अधिक है. हालांकि, यह पता नहीं चल पाया है कि कितने लोगों द्वारा दावा-आपत्ति दाखिल किया गया था. इसी पंचायत में डिंपी देवी पैक्स कार्यकारिणी की सदस्य हैं. उन्हें सह सदस्य दिखा दिया गया है. वे पूर्ण सदस्य होने का दावा लेकर पहुंची थी. उनके पति निरंजन कुमार को अविवाहित बेटी दिखा दिया गया है. ये भी दावा-आपत्ति लेकर पहुंचे थे. नोनार निवासी इंद्रजीत शर्मा का मतदाता सूची से नाम ही कट गया था. इसी तरह अन्य पंचायतों से भी किसान दावा-आपत्ति के निबटारा को लेकर पहुंचे थे. ज्ञात हो कि मतदाता सूची का प्रारूप प्रकाशित होने के बाद से ही आरोप- प्रत्यारोप का सिलसिला शुरू हो गया था. साथ ही दावा-आपत्ति जमा करने की का दौर भी शुरू हो गया था. सूत्रों से पता चला कि दावा-आपत्ति के दौरान अधिकांश प्रपत्र नाम दोहरीकरण, नाम नहीं जोड़ने, जीवित को मृत दिखाने, सह सदस्य से पूर्ण सदस्य करने के पहुंचे हैं. अब देखने वाली बात यह होगी कि दावा-आपत्ति के निबटारा के दौरान क्या बातें पायी गयी हैं और कितना सुधार हो पता है. यह शुक्रवार को मतदाता सूची का प्रकाशन होने के बाद ही पता चल पायेगा.
पूर्व मुखिया प्रतिनिधि व पैक्स अध्यक्ष लेकर पहुंचे थे अपना-अपना पक्ष
मनार पंचायत के पूर्व मुखिया प्रतिनिधि अशोक कुमार सिंह एवं पैक्स अध्यक्ष राजेश्वर सिंह अपना-अपना पक्ष लेकर पहुंचे थे. मनार पंचायत के पूर्व मुखिया प्रतिनिधि का आरोप है कि उनके पैक्स में लगभग डेढ़ सौ बाहरी लोगों का नाम जुड़ा है, जो पंचायत के निवासी नहीं हैं. जबकि मनार पंचायत के पैक्स अध्यक्ष राजेश्वर सिंह ने कहा कि पूर्व मुखिया प्रतिनिधि का आरोप पूरी तरह गलत और निराधार है. 40 लोगों पर दावा-आपत्ति पट्टी दाखिल की गयी थी. सभी का आधार कार्ड जमा करवा दिया गया है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है