Aurangabad News : चेक डैम निर्माण की सूचना पर लभरी खुर्द के लोगों में आक्रोश

Aurangabad News : लघु जल संसाधन विभाग ने बतरे नदी में चेक डैम बनाने के लिए निकाला टेंडर

By Prabhat Khabar News Desk | December 19, 2024 10:22 PM
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अंबा.

ग्रामीण कार्य विभाग के अधिकारियों ने मनमानी करते हुए गांव में सड़क निर्माण नहीं होने दिया, तो लघु जल संसाधन विभाग के अधिकारी अब गांव उजाड़ने की तैयारी में जुट गये हैं. यह कहना है कुटुंबा प्रखंड अंतर्गत घेउरा पंचायत के लभरी खुर्द गांव के लोगों का. उक्त गांव के समीप बतरे नदी में चेक डैम निर्माण करने की योजना लघु जल संसाधन विभाग द्वारा तैयार की गयी है और इसके लिए विभाग द्वारा टेंडर भी निकाला गया है. ग्रामीणों ने जब विभाग द्वारा प्रकाशित निविदा को देखा, तो वे हैरत में पड़ गये. गांव के लोगों का कहना है कि यदि चेक डैम का निर्माण कराया जाता है, तो नदी का पानी पानी गांव में आयेगा जिससे कई घरों को ध्वस्त होने की आशंका है. ग्रामीणों ने बताया कि इसके लिए उन लोगों ने लघु जल संसाधन विभाग के कार्यपालक अभियंता से मिलकर शिकायत की, तो उन्होंने यह कहकर बात टाल दिया कि आप लोग पांच वर्ष से कहां थे, अब तो योजना की स्वीकृति मिल गयी है, तो काम होगा ही. इधर, ग्रामीण भी अब आर-पार की लड़ाई के मूड में है. ग्रामीणों का कहना है कि बगैर साइट विजिट किये अधिकारियों द्वारा योजना का चयन किया गया है. योजना के चयन से स्पष्ट है कि विभाग के अधिकारी कार्य स्थल पर न जाकर कार्यालय में बैठकर कार्य करते हैं. ग्रामीणों ने बताया कि किसी भी हालत में वे चेक डैम का निर्माण नहीं होने देंगे. यदि जरूरत पड़ी, तो इसके लिए उग्र आंदोलन करेंगे और कोर्ट का शरण लेंगे.

ग्रामीण कार्य विभाग के अधिकारियों ने मनमानी करते हुए सड़क से किया था वंचित

गांव के श्याम प्रकाश पाठक, नंदकुमार सिंह, गुड्डू कुमार दुबे, राहुल कुमार, कैलाश सिंह, विश्वनाथ प्रसाद, आतिश कुमार दुबे, सुरेंद्र दुबे, प्रवेश पाठक, कांति देवी, धनंजय दुबे आदि का कहना है कि अधिकारियों की लापरवाही एवं मनमानी से हम सभी गंभीर रूप से परेशान हैं. करीब 10 वर्ष पहले लभरी खुर्द गांव के नाम से सड़क निर्माण की स्वीकृति मिली थी. परंतु, ग्रामीण कार्य विभाग के अधिकारियों की मनमानी से उक्त सड़क दूसरे गांव में बनवा दिया गया. हम सभी को इसका पता तब चला जब सड़क निर्माण कार्य पूर्ण होने के बाद कार्य से संबंधित बोर्ड योजना स्तर पर लगाया गया. इसके बाद लगातार ग्रामीण कार्य विभाग के कार्यालय का दौड़ लगाते रहे पर अधिकारियों ने कुछ भी सुनने से इनकार कर दिया. अधिकारी दूसरे योजना से सड़क निर्माण करने के आश्वासन देते हैं, पर आज भी हम सभी सड़क नहीं होने का दर्द झेल रहे हैं.

मंत्री को आवेदन देकर चैक डैम निर्माण पर रोक लगाने की लगायी गुहार

विभाग के अधिकारियों ने जब नहीं सुनी तो ग्रामीणों ने इस संबंध में एक आवेदन लघु सिंचाई मंत्री को दिये हैं. गांव के भगवान साव, विश्वनाथ प्रसाद, श्याम प्रकाश पाठक, निर्मल पाठक, किरण देवी, रानी कुमारी, आरती देवी, विनय दुबे, गुंजा कुमारी, सुदामा देवी, मदन दुबे, सविता देवी, शोभा देवी, पूजा सिंह, राजेंद्र सिंह, प्रिंस देवी, अनीता देवी, उर्मिला देवी, सोनी देवी, चंदा कुमारी, नेहा कुमारी, कमला देवी, खुशबू कुमारी, निधि कुमारी, नंदनी कुमारी, निकिता कुमारी, योगेंद्र कुमार सिंह, धनवती देवी, संतोषी देवी, इंदु देवी, नेहा कुमारी, पूनम देवी, प्रियंका कुमारी, हेमंत कुमार आदि करीब 100 से अधिक ग्रामीणों ने आवेदन पर संयुक्त रूप से अपना हस्ताक्षर बनाते हुए मंत्री को बताया है कि गांव के समीप जिस जगह पर चेक डैम का निर्माण कराया जाना है, वहां नदी का दोनों किनारा भी नहीं है. नदी खेत एवं गांव सभी एक समान है. बरसात में नदी में ज्यादा पानी आने पर गांव में प्रवेश कर जाता है, जिससे कई घरों को नुकसान होता है. यदि उक्त स्थान पर चेक डैम का निर्माण कराया जाता है तो लभरी खुर्द व परसांवा दोनों गांव में जान माल का भारी नुकसान हो सकता है. ग्रामीणों ने मंत्री का ध्यान समस्या की ओर आकृष्ट कराते हुए उक्त स्थान पर चेक डैम की जगह छलका निर्माण करने की मांग की है. यदि छलक का निर्माण कराया जाता है तो हम सभी को आवागमन में सहूलियत होगी.

क्या कहते हैं अधिकारी

लघु जल सिंचाई विभाग के कार्यपालक अभियंता अशोक कुमार ने बताया कि हर खेतों में पानी योजना के तहत चेक डैम का निर्माण कराया जाना है. पानी गांव में नहीं जाये, इसके लिए नदी के दोनों किनारे पर पक्का बांध बनाया जायेगा. यह पूछे जाने पर की ग्रामीण इस पर विरोध जता रहे हैं और मंत्री को आवेदन दिये हैं, तो उन्होंने बताया कि विभागीय निर्देश के आलोक में कार्य कराया जायेगा.

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