पटना. स्वास्थ्य विभाग राज्य में वर्ष 1996 के बाद 3270 आयुष चिकित्सकों की नियुक्ति होने जा रहा है. बिहार तकनीकी सेवा आयोग द्वारा इनकी नियुक्ति की प्रक्रिया अंतिम चरण में है. आयोग ने 20 नवंबर, 2020 तक अभ्यर्थियों से आवेदन मांगे थे.
आयोग की ओर से अनुशंसा प्राप्त होते ही नियुक्ति कर दी जायेगी. जिन पदों पर आयुष चिकित्सकों की नियुक्ति की जा रही है, उनमें आयुष चिकित्सा पदाधिकारी के 1502, आयुष फिजिशियन (आयुर्वेदिक) के 126, होमियोपैथिक चिकित्सा पदाधिकारी के 894, आयुष फिजिशियन (होमियोपैथिक) के 76, यूनानी चिकित्सा पदाधिकारी के 622 और आयुष फिजिशियन (यूनानी) के 50 पद शामिल हैं.
राज्य में वर्ष 2020-21 में दिसंबर तक करीब 30 लाख मरीजों ने प्रत्यक्ष रूप से आयुष पद्धति से इलाज कराया है. 1996 के बाद राज्य में 2013 में अतिरिक्त प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में कुल 1384 आयुष चिकित्सकों की नियुक्ति संविदा के आधार पर की गयी है.
इनमें आयुर्वेदिक के 704, होमियोपैथी के 428 व यूनानी के 252 चिकित्सक शामिल हैं. पिछले साल स्वास्थ्य विभाग ने आयुष के विकास के लिए 2323 नये पदों का सृजन किया है. इन पदों में 50% पर आयुर्वेदिक, 30% पर होमियोपैथिक और 20% पर यूनानी चिकित्सकों की नियुक्ति की जा रही है.
राज्य के 26 जिलों में स्थापित संयुक्त औषधालयों में आयुर्वेदिक, होमियोपैथी और यूनानी के एक-एक चिकित्सकों की नियुक्ति की जानी है. इसी प्रकार से राज्य के 69 आयुर्वेदिक औषधालयों में एक-एक पदों पर आयुर्वेदिक चिकित्सकों की नियुक्ति की जानी है.
इसी प्रकार से राज्य के 29 होमियोपैथिक औषधालयों में एक-एक होमियोपैथिक चिकित्सकों की और 30 यूनानी औषधालयों में एक-एक यूनानी चिकित्सक की नियुक्ति होनी है. साथ ही सभी अतिरिक्त प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, अनुमंडलीय अस्पताल और जिला अस्पतालों में आयुष चिकित्सकों की नियुक्ति होगी.
Posted by Ashish Jha