बदल रहा मौसम बढ़ रहीं बीमारियां

सदर अस्पताल में बढ़ी मरीजों की भीड़ ठंडे-गरम मौसम की वजह से लोगों को कै-दस्त, सर्दी-खांसी अादि की शिकायत हो रही है. बांका : मौसम की बेरुखी और तापमान में लगातार जारी उतार-चढ़ाव की वजह से बांका सहित जिले भर में मौसमी बीमारियों का प्रकोप इधर काफी बढ़ गया है. बड़ी संख्या में लोग इन्फ्लुएंजा, […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 17, 2016 5:30 AM

सदर अस्पताल में बढ़ी मरीजों की भीड़

ठंडे-गरम मौसम की वजह से लोगों को कै-दस्त, सर्दी-खांसी अादि की शिकायत हो रही है.
बांका : मौसम की बेरुखी और तापमान में लगातार जारी उतार-चढ़ाव की वजह से बांका सहित जिले भर में मौसमी बीमारियों का प्रकोप इधर काफी बढ़ गया है. बड़ी संख्या में लोग इन्फ्लुएंजा, न्यूमोनिया, टॉन्सिलाइटिस, सर्दी-खांसी के अलावा कै दस्त के शिकार हो रहे हैं. अस्पतालों में मरीजों की भीड़ उमड़ रही है. मरीजों की संख्या को देखते हुए अस्पतालों और निजी क्लीनिक में डॉक्टर और संसाधन कम पड़ रहे हैं. दवा दुकानों में भी मरीजों की लाइन लग रही है.
डॉक्टरों का कहना है कि मौसम में लगातार उतार-चढ़ाव जारी है. तापमान भी कभी कम और कभी ज्यादा हो रहे हैं. बारिश के बाद कई जगह जलजमाव और मौसम में नमी की वजह से उमस भरी गरमी लोगों को बेहाल कर रही है. ऐसे में मौसम के साथ लोग अपने खानपान और रहन सहन का सामंजस्य स्थापित नहीं कर पा रहे हैं.
अनियमित दिनचर्या और मौसम की बेरुखी का असर लोगों के स्वास्थ्य पर पड़ रहा है. लोग बड़े पैमाने पर बीमार पड़ रहे हैं. मरीजों में लगभग 30 फीसदी उदर रोग से पीड़ित मरीज शामिल हैं. जबकि खसरा, इन्फ्लूएंजा टॉन्सिलाइटिस और सामान्य बुखार के मरीजों की तादाद भी काफी ज्यादा है. डॉक्टर भी अचंभित हैं
इस मौसम में मरीजों की बढ़ती तादाद देखकर. अस्पताल में सुबह से लेकर शाम तक मरीजों का तांता लगा रहता है. कै एवं दस्त के मरीजों की भी अच्छी खासी संख्या अस्पताल में भरती हो रही है. सरकारी अस्पतालों में तो मरीजों को निशुल्क और सुलभ चिकित्सा उपलब्ध है, लेकिन ग्रामीण क्षेत्रों में डॉक्टर इन मरीजों के बहाने मालामाल हो रहे हैं. अनुमान के मुताबिक, आधे से ज्यादा मरीज ग्रामीण क्षेत्रों के ग्रामीण डाक्टरों के भरोसे हैं.
कहते हैं चिकित्सक
मौसम के बदलाव को देखते हुए लोगों को अपनी दिनचर्या को मौसम के साथ तालमेल बिठा कर चलना होगा. खान पान में परहेज जरूरी है. लोग बीमारियों से बचने के लिए दूषित और बाकी चीजों के सेवन से परहेज करें. ताजा पानी पीयें एवं ताजा भोजन करें. भोजन में गरिष्ठ चीजों का सेवन ना करें तो बेहतर. अपने आसपास गंदगी और जलजमाव ना होने दें. किसी भी तरह के लक्षण प्रकट होने पर तुरंत चिकित्सक से सलाह लें.
डॉ शैलेंद्र कुमार, चिकत्सिा पदाधिकारी,बांका

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