Bihar: बांका में कर्ज से परेशान परिवार के 5 लोगों ने खाया जहर, पति-पत्नी और एक बच्चे की हुई मौत

Bihar: बांका में कर्ज से परेशान परिवार के 5 लोगों ने जहर खा लिया. इस घटना में पति-पत्नी और एक बच्चे की मौत हो गयी जबकि एक बच्ची की हालत गंभीर है. जानिए क्या है मामला...

By ThakurShaktilochan Sandilya | November 16, 2024 10:01 AM

Bihar News: बिहार के बांका जिले में कर्ज के बोझ से दबे एक दंपति ने खौफनाक कदम उठाया. पति-पत्नी ने खुद और अपने तीन बच्चों को भी जहर खिला दिया. इस घटना में पति-पत्नी की मौत हो गयी जबकि उनके बच्चों का इलाज अस्पताल में चल रहा है. शुक्रवार की आधी रात के बाद की यह घटना है. परिजनों में कोहराम मचा हुआ है. घटना की जानकारी मिलने पर मृतक के घर पर आसपास के ग्रामीण भी पहुंचे हैं. अमरपुर थाना क्षेत्र के बलुआ गांव की यह घटना है.

ग्रुप लोन से परेशान होकर उठाया ये कदम

मिली जानकारी के अनुसार, ग्रुप लोन से परेशान होकर अमरपुर थाना क्षेत्र के बलुआ गांव में एक ही परिवार के पांच सदस्यों ने जहर खा लिया. लोन के बोझ से दबे पति-पत्नी के ऊपर जब पैसा वापस करने का दबाव बढ़ने लगा तो उनके पास अब एक ही उपाय सूझा कि वो अपनी जिंदगी ही खत्म कर ले. दोनों ने आधी रात के बाद ये खौफनाक कदम उठाया. सामने आ रही जानकारी के अनुसार, पति- पत्नी ने खुद भी जहर खा लिया और फिर अपने तीन बच्चों को भी जहर खिलाया.

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छोटे बेटे ने उगल दिया जहर, भाग कर गांव वालों को बताया

ग्रामीण बताते हैं कि सभी रात में सोये हुए थे. अचानक इन दंपति का सबसे छोटा बेटा राकेश (8वर्ष) चिल्लाता हुआ आया और सबसे मदद मांगने लगा. उसने बताया कि उसकी मां ने सबको जहर खिला दिया है. उसे भी जहर खिलाया था लेकिन उसने उगल दिया. यह सुनते ही सभी उसके घर की ओर भागे. अंदर पति-पत्नी और दो बच्चे जहर खाकर पड़े थे. जिसके बाद आनन-फानन में उन्हें स्थानीय अमरपुर अस्पताल पहुंचाया गया.

भागलपुर में पति-पत्नी की मौत

मरीजों की स्थिति गंभीर देखते हुए उन्हें भागलपुर के मायागंज स्थित JLNMCH अस्पताल भेजा गया. जहां पति-पत्नी को मृत घोषित कर दिया गया. मृतकों की पहचान कन्हाय महतो (39 वर्ष) और उनकी पत्नी गीता देवी (35 वर्ष) के रूप में की गयी है. जबकि दो बच्चे जिनका इलाज चल रहा है वो सवीता (16) और धीरज उर्फ आलोक (12) हैं.

लाखों रुपए के लोन का था दबाव

ग्रामीणों में चर्चा है कि पति-पत्नी ने करीब आधा दर्जन प्राइवेट फाइनेंस बैंक से ग्रुप लोन ले रखा था. करीब 10 लाख रुपए का कर्ज इनके ऊपर था. वहीं गांव के भी कुछ लोगों से इन्होंने कर्ज उठा रखा था. जिसे चुकाने का दबाव इनपर लगातार था. इस कर्ज को चुकाने में वो सक्षम नहीं हुए तो कर्ज से तंग आकर पति-पत्नी ने खुद भी जहर खा लिया और बच्चों को भी मौत की नींद सुलाने के लिए जहर दे दिया.

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