Bihar News: बिहार में उद्योग के लिए जमीन की समस्या खत्म, इस जिले में मिली 234 एकड़ जमीन
Bihar News: डीएम अंशुल कुमार ने कहा कि जमीन उपलब्ध करा दी गई है. उद्योग विभाग द्वारा इस पर उद्योग लगाने की दिशा में पहल करेगा. बिहार सौर उर्जा से लेकर कई प्लांट लगाने के लिए लंबे अर्से से जमीन की खोज की जा रही थी.
Bihar News: बांका. उद्योग स्थापित के लिए अब जमीन की समस्या दूर हो गई है. प्रशासन ने इसके लिए 234 एकड़ जमीन की खोज की है. कटोरिया व चांदन प्रखंड में जमीन की पहचान कर राज्य के उद्योग मंत्रालय को इसके लिए पत्र लिखा है. प्रशासन ने कहा कि उद्योग स्थापित के लिए निवेशक बांका आएं. यहां उनको जमीन की सुविधा दी जाएगी. इसके पहले बौंसी प्रखंड के फागा पंचायत के बरसमिया में 25 एकड़ जमीन इसके लिए बियाडा को दी गई है. डीएम अंशुल कुमार ने कहा कि जमीन उपलब्ध करा दी गई है. उद्योग विभाग द्वारा इस पर उद्योग लगाने की दिशा में पहल करेगा. बिहार सौर उर्जा से लेकर कई प्लांट लगाने के लिए लंबे अर्से से जमीन की खोज की जा रही थी.
जमीन के अभाव में कई प्रस्ताव अधर में लटका
औद्योगिक क्षेत्र विकास प्राधिकार (बियाडा) की जमीन सस्ती दरों पर देने का प्रविधान है. इस योजना के तहत इच्छुक निवेशकों को बियाडा की जमीन 20 से 80 प्रतिशत तक कम दामों पर देने का नियम है. जमीन की समस्या की बात डीएम अंशुल कुमार तक बात पहुंचने पर अधिकारियों की टीम के साथ कटोरिया प्रखंड के बसमत्ता पंचायत के कलझर, आर पाथर रोड व चांदन में जमीन की खोज की गई. जमीन की पहचान होने पर संबंधित अंचलाधिकारियों से सरकारी होने की सूचना पर सरकार को इसके लिए प्रस्ताव भेजा गया है. फिलहाल, बांका जिला में तीन स्थानों पर प्राइवेट तौर पर सोलर प्लांट की स्थापना की गई है. जहां सौ मेगावाट बिजली का उत्पादन हो रहा है. जमीन के अभाव में कई प्रस्ताव अधर में लटका हुआ था. अब जमीन मिलने के बाद उद्योग लगने की संभावना बढ़ गई है.
हवाई अड्डा को किया जा रहा दुरुस्त
झारखंड राज्य से सटे बांका जिला है. वहां से हवाई सेवा की सुविधा है. इसके अलावा पर्यटन क्षेत्र मंदार व प्राकृतिक पर्यटन क्षेत्र ओढ़नी डैम का विस्तार होने पर जिला में बाहरी पर्यटकों का आना जाना शुरू हो गया है. इस कारण डीएम ने बांका प्रखंड स्थित हवाई अड्डा की 29 एकड़ जमीन की मापी कर सीमांकन करने का निर्णय लिया है. इसके बाद यहां से हवाई सेवा शुरू करने की योजना है. हवाई सेवा शुरू होने से बड़े-बड़े निवेशकों के आने की उम्मीद है. फिलहाल, कटोरिया व चांदन क्षेत्र में लेमनग्रास की खेती व कोकून का उत्पादन हो रहा है. इस कारण यहां इत्र बनाने से लेकर सिल्क उद्योग से जुड़े लोग भी निवेश करेंगे.