नाबालिग से दुष्कर्म मामले में इमाम दोषी, सजा 11 को, मस्जिद में बंद कर दो दिनों तक किया था दुष्कर्म

बेगूसराय : अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश पीयूष कमल दीक्षित ने नाबालिग लड़की से दुष्कर्म करने के आरोपित सहरसा जिले के सलखुआ थाने के हरेबा निवासी मोहम्मद काशिफ जया को भादवि की धारा 365 व पॉक्सो की धारा चार के तहत दोषी करार दिया है. मोहम्मद काशिफ जया मस्जिद का इमाम बताया जाता है. सजा […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 8, 2017 11:51 PM

बेगूसराय : अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश पीयूष कमल दीक्षित ने नाबालिग लड़की से दुष्कर्म करने के आरोपित सहरसा जिले के सलखुआ थाने के हरेबा निवासी मोहम्मद काशिफ जया को भादवि की धारा 365 व पॉक्सो की धारा चार के तहत दोषी करार दिया है. मोहम्मद काशिफ जया मस्जिद का इमाम बताया जाता है. सजा के बिंदु पर सुनवाई के लिए 11 सितंबर की तारीख तय की गयी है.

इमाम पर क्या है आरोप

बखरी थाने के मोहनपुर निवासी 15 वर्षीया किशोरी का 21 अप्रैल, 2015 की मध्य रात में अपहरण कर मस्जिद के एक कमरे में बंद कर दिया गया था. वहां उसके साथ दो दिनों तक दुष्कर्म किया गया. पीड़िता ने 164 के तहत न्यायालय के समक्ष बयान में बताया था कि गांव के मस्जिद का इमाम मोहम्मद काशिफ जया उसे लेकर भाग गया और मस्जिद के एक कमरे में बंद कर दो दिनों तक दुष्कर्म किया. पीड़िता के पिता ने बखरी थाने में घटना की प्राथमिकी दर्ज करायी थी. कोर्ट ने दोनों पक्षों की बहस और गवाही के बाद इमाम को अपहरण और पॉक्सो एक्ट के तहत दोषी पाया है. अभियोजन की ओर से विशेष लोक अभियोजक कुमारी मनीषा ने इस मामले में सात गवाहों की गवाही करायी.

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